scriptभिवाड़ी मॉब लिंचिंग : हरीश जाटव के पिता की संदिग्ध मौत के बाद धरने पर बैठे भाजपा नेता, नहीं हो पाया पोस्टमार्टम | Harish Jatav Mob Lynching : Harish jatav Father Death Bhiwadi Lynching | Patrika News

भिवाड़ी मॉब लिंचिंग : हरीश जाटव के पिता की संदिग्ध मौत के बाद धरने पर बैठे भाजपा नेता, नहीं हो पाया पोस्टमार्टम

locationअलवरPublished: Aug 17, 2019 10:22:32 am

Submitted by:

Lubhavan

Harish jatav Mob Lynchig : भिवाड़ी के हरीश जाटव मॉब लिंचिंग के बाद उसके पिता की भी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई।

Harish Jatav Mob Lynching : Harish jatav Father Death Bhiwadi Lynching

भिवाड़ी मॉब लिंचिंग : हरीश जाटव के पिता की संदिग्ध मौत के बाद धरने पर बैठे भाजपा नेता, नहीं हो पाया पोस्टमार्टम

अलवर. अलवर जिले के भिवाड़ी के चौपानकी थाना क्षेत्र के झिवाना गांव निवासी हरीश जाटव की कथित मॉब लिंचिंग में हुई मौत के 28 दिन बाद गुरुवार रात को उसके दृष्टि बाधित पिता रतीराम जाटव की संदिग्ध परिस्थितियों में विषाक्त पदार्थ के सेवन से मौत हो गई। घटना के बाद मामला और भडक़ गया। परिजन और ग्रामीण आरोपियों की गिरफ्तारी और भिवाड़ी एएसपी व डीएसपी के तबादले की मांग को लेकर टपूकड़ा सीएचसी के बाहर धरने पर बैठ गए। पुलिस प्रशासन की वार्ता विफल रहने पर शुक्रवार को मृतक का पोस्टमार्टम नहीं हो सका।
जानकारी के अनुसार मृतक हरीश जाटव के पिता रतीराम जाटव ने गुरुवार रात गंभीर हालत में टपूकड़ा सीएचसी से अलवर रैफर किया। जहां चिकित्सकों ने जांच के बाद रतीराम को मृत घोषित कर दिया। परिजनों की टपूकड़ा सीएचसी में पोस्टमार्टम कराने की मांग पर रतीराम का शव गुरुवार देर रात टपूकड़ा सीएचसी में रखवाया गया। शुक्रवार सुबह 8 बजे से ही टपूकड़ा सीएचसी में भीड़ एकत्र होने लगी। परिवार के पीडि़त परिजन व ग्रामीण हरीश से बाइक दुर्घटना के बाद मारपीट करने वाले आरोपियों की गिरफ्तारी तथा भिवाड़ी एएसपी नाजिम अली व डीएसपी देवेंद्रसिंह शेखावत के तबादले की मांग पूरी होने तक शव का पोस्टमार्टम कराकर सुपुर्दगी नहीं लेने की चेतावनी देकर टपूकड़ा सीएचसी के बाहर धरने पर बैठ गए। टपूकड़ा सीएचसी के बाहर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है।
वार्ता रही विफल

अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठे लोगों से वार्ता करने जिला कलक्टर इंद्रजीत सिंह व पुलिस अधीक्षक परिस देशमुख टपूकड़ा सीएचसी पहुंचे। उन्होंने पीडि़त पक्ष के लोगों से वार्ता कर समझाइश की, लेकिन वार्ता विफल रही और दोनों अधिकारी वापस अलवर लौट गए। जबकि पीडि़त पक्ष न्याय मिलने तक धरने पर बैठा है।
यह था मामला

चौपानकी थाना क्षेत्र के झिवाणा निवासी हरीश जाटव पुत्र रतीराम जाटव 16 जुलाई की रात भिवाड़ी से घर लौट रहा था। रास्ते में फलसा गांव के समीप गंभीर घायल व अचेत अवस्था में पड़ा मिला। ग्रामीणों ने पुलिस को बताया कि हरीश की बाइक से सडक़ पार करती हुई एक महिला हकीमन की टक्कर हो गई थी, जिससे वह सडक़ पर गिरकर गंभीर घायल हो गया। पुलिस ने उसे भिवाड़ी सीएचसी में भर्ती कराया। हालत गंभीर होने पर परिजन उसे इलाज के लिए दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल ले गए। जहां 18 जुलाई को इलाज के दौरान हरीश की मौत हो गई। इससे एक दिन पहले 17 जुलाई को पिता रतीराम ने फलसा गांव के कुछ लोगों के खिलाफ बाइक से महिला की टक्कर होने पर हरीश से मारपीट करने का प्रकरण दर्ज कराया। वहीं, दूसरे पक्ष के जमालुद्दीन ने अपनी पत्नी हकीमन को बाइक से टक्कर मारने का मामला हरीश के खिलाफ दर्ज कराया था।
Harish Jatav Mob Lynching : Harish jatav Father Death Bhiwadi Lynching
धरने पर बैठे भाजपा नेता

मृतक रतीराम तिजारा पंचायत समिति प्रधान टीटू जाटव के चाचा होने के कारण भाजपा नेताओं ने धरने में शामिल होकर समर्थन दिया है। धरने पर अलवर ग्रमाीण से भाजपा प्रत्याशी रहे रामकिशन मेघवाल, पूर्व विधायक मामनसिंह यादव, भिवाड़ी नगर परिषद सभापति संदीप दायमा, शशि यादव, डीके यादव, राजवीर यादव, राजकुमार यादव, सुल्तानसिंह पालीवाल, तिजारा जाटव समाज अध्यक्ष बनवारीलाल, गुरुदयाल मांडी, टीटू प्रधान व मनोज यादव आदि शामिल हुए। भाजपा महामंत्री रामकिशन ने पुलिस प्रशासन पर आरोप लगाते हुए कहा कि दलितों के साथ कांग्रेस के इशारे पर अन्याय किया जा रहा है। पुलिस ने हरीश जाटव के पिता पर लेन-देन से मामले का फैसला करने का दबाव बनाया, भिवाड़ी में एसपी और आईजी आए, लेकिन कार्रवाई नहीं की।
ये मांगें रखी

पुलिस हरीश जाटव के आरोपियों को गिरफ्तार करे।

राज्य सरकार हरीश जाटव की पत्नी रेखा को सरकारी नौकरी दे।

हरीश की चार बच्चियों व उसकी गर्भवती पत्नी के पालन-पोषण के लिए एक करोड़ रुपया मुआवजा दे।
भिवाड़ी एएसपी नाजिम अली व डीएसपी देवेंद्र सिंह का तुरंत तबादला किया जाए।

मामले में प्रशासन व पुलिस अधिकारियों की पीडि़त के परिजनों एवं सम्बन्धित लोगों से बातचीत की जा रही है। कुछ मुद्दों पर गतिरोध है। पीडि़त पक्ष को मामले की निष्पक्ष जांच का भरोसा दिलाया गया है। सभी से शांति की अपील की गई है, जिससे जिले में कानून व्यवस्था प्रभावित नहीं हो।
इंद्रजीत सिंह, जिला कलक्टर

ट्रेंडिंग वीडियो