मंदिर की सीढि़यां, मंदिर के आगे निर्मित चौक और मंदिर के सामने का बरामदा आज अपने आकर्षण के लिए पहचाना जाने लगा है। मंदिर के इस विकास में जहां श्रद्धालुओं ने अपना सक्रिय सहयोग दिया। वहीं, जिला प्रशासन ने भी रचनात्मक भूमिका निभाई है।
मेले व रथयात्रा महोत्सव के बड़े स्तर पर आयोजित होने के कारण मेले से 15 दिवस पूर्व जिला प्रशासन सम्बन्धित विभागों के अधिकारियों की बैठक आयोजित करता है। जिसमें अधिकारियों को मेले और रथयात्रा महोत्सव की व्यवस्थाओं के सम्बन्ध में दिशा-निर्देश दिए जाते हैं।
यूं जुट जाता है सरकारी अमला रथयात्रा से पूर्व सार्वजनिक निर्माण विभाग द्वारा रथयात्रा मार्ग की सड़कों की मरम्मत कराता है। वहीं, दूरसंचार विभाग और बिजली निगम मार्ग में पडऩे वाले ढीले तारों को कसकर इंद्र विमान की ऊंचाई से अधिक ऊंचा करते हैं। मार्ग में पडऩे वाले पेड़ों की शाखाओं की छंगाई कराई जाती है। मेला स्थल पर सफाई व्यवस्था की जिम्मेदारी नगर परिषद की रहती है।
सूचना एवं जनसम्पर्क कार्यायाल द्वारा फिल्म प्रदर्शन होते हैं व प्रदर्शनी लगाई जाती है। तीन दिन के लिए भारी वाहनों का आवागमन मेला मार्ग से बदला जाता है। साथ ही कड़े सुरक्षा बंदोबस्त किए जाते हैं। जगन्नाथ मेल का जिला प्रशासन की तरफ से एक दिवसीय राजकीय अवकाश भी घोषित किया जाता है।
तैयार हो जाएं अलवरवासी अपनी समृद्ध संस्कृति को जानने के लिए
भगवान जगन्नाथ महोत्सव के उपलक्ष में राजस्थान पत्रिका और जगन्नाथ मंदिर मेला कमेटी की ओर से व बीएल पब्लिक स्कूल के सहयोग से अपना अलवर-अपनी संस्कृति परीक्षा का आयोजन किया जाएगा। यह आयोजन जिले की नई पीढ़ी को संस्कृति और धार्मिक परम्परा से रूबरू कराने के उद्देश्य से आयोजित की जा रही है। इसमें कक्षा 3 वीं से 10 वीं के विद्यार्थी भाग ले सकेंगे। प्रतियोगी परीक्षा नयाबास स्थित बीएल पब्लिक स्कूल में होगी।
भगवान जगन्नाथ महोत्सव के उपलक्ष में राजस्थान पत्रिका और जगन्नाथ मंदिर मेला कमेटी की ओर से व बीएल पब्लिक स्कूल के सहयोग से अपना अलवर-अपनी संस्कृति परीक्षा का आयोजन किया जाएगा। यह आयोजन जिले की नई पीढ़ी को संस्कृति और धार्मिक परम्परा से रूबरू कराने के उद्देश्य से आयोजित की जा रही है। इसमें कक्षा 3 वीं से 10 वीं के विद्यार्थी भाग ले सकेंगे। प्रतियोगी परीक्षा नयाबास स्थित बीएल पब्लिक स्कूल में होगी।
अलवर में आगामी 22 जून से 11 जुलाई तक चलने वाले जगन्नाथ महोत्सव के दौरान राजस्थान पत्रिका व जगन्नाथ मेला कमेटी ने नई पीढ़ी को अलवर की संस्कृति और धार्मिक परम्परा से परिचित कराने का निर्णय किया है। इसी के तहत बीएल पब्लिक स्कूल में परीक्षा आयोजित की जाएगी। इसमें भाग लेने वाले सभी विद्यार्थियों को पत्रिका की ओर से प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा। यह प्रतियोगी परीक्षा मेला महोत्सव के दिनों में आयोजित की जाएगी।
कैसे करें परीक्षा की तैयारी
इन दिनों राजस्थान पत्रिका समाचार पत्र में अलवर की संस्कृति और भगवान जगन्नाथ से सम्बन्धित समाचार प्रकाशित किए जा रहे हैं। परीक्षा के ज्यादातर प्रश्न इन्हीं समाचारों पर आधारित होंगे। प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए आप प्रतिदिन राजस्थान पत्रिका पढ़ते रहिए।
इन दिनों राजस्थान पत्रिका समाचार पत्र में अलवर की संस्कृति और भगवान जगन्नाथ से सम्बन्धित समाचार प्रकाशित किए जा रहे हैं। परीक्षा के ज्यादातर प्रश्न इन्हीं समाचारों पर आधारित होंगे। प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए आप प्रतिदिन राजस्थान पत्रिका पढ़ते रहिए।
प्रतियोगिता में 50 प्रश्न होंगे
प्रतियोगिता में अलवर की संस्कृति से सम्बन्धित 50 प्रश्न होंगे। ये प्रश्न आब्जेक्टिव टाइप तथा कुछ प्रश्न रिक्त स्थान में होंगे। परीक्षा के प्रश्न पत्र अलवर की संस्कृति से जुड़ा विशेषज्ञों का पैनल तैयार करेगा
प्रतियोगिता में अलवर की संस्कृति से सम्बन्धित 50 प्रश्न होंगे। ये प्रश्न आब्जेक्टिव टाइप तथा कुछ प्रश्न रिक्त स्थान में होंगे। परीक्षा के प्रश्न पत्र अलवर की संस्कृति से जुड़ा विशेषज्ञों का पैनल तैयार करेगा