सरिस्का में एक बाघ का शिकार एवं एक बाघिन के गायब होने के बाद पहले गत 28 अप्रेल को बाघिन एसटी-14 के दो शावकों के जन्म देने की पुष्टि होने और अब गत रविवार को बाघिन एसटी-12 के तीन शावकों के जन्म देने की पुष्टि होने से बाघों के कुनबे में एक साथ तेजी से वृद्धि हुई है। यही कारण है कि इन दिनों सरिस्का प्रशासन शावकों को लेकर बेहदउत्साहित है।
सरिस्का प्रशासन का सारा ध्यान शावकों पर इन दिनों सरिस्का प्रशासन का सारा ध्यान नन्हें शावकों पर है। यही कारण है कि सरिस्का में इन दिनों नन्हें शावकों व बाघिनों की मॉनिटरिंग के विशेष निर्देश दिए गए हैं। बाघिनों की टैरिटरी में निगरानी के लिए कैमरों की संख्या बढ़ाकर दोगुनी से ज्यादा कर दी है। वहीं वनकर्मियों की टीम को भी शावक व बाघिनों की निगरानी पर लगाया गया है।
मुखबिरों पर आखिरी उम्मीद बाघिन एसटी-5 को लेकर सरिस्का प्रशासन की आखिरी उम्मीद अब मुखबिरों पर टिकी है। सरिस्का प्रशासन मुखबिरों से सूचना लेने में जुटा है, जिनके आधार पर बाघिन के जिंदा या शिकार होने का पता लगाया जा सके। इसके लिए सरिसका प्रशासन मुखबिरों को बकायदा इनाम राशि देने में भी कोताही नहीं बरत रहा।
बाघिन एसटी-5 की तलाश अब धीमी पिछले दिनों बाघिन एसटी-5 की तलाश के लिए सरिस्का प्रशासन ने विशेष टीमें लगाकर पूरे सरिस्का जंगल को छान मारा था। इसके बाद भी बाघिन का पता नहीं चल सका। करीब छह महीने की मशक्कत एवं तलाश अभियान में पुलिस व मुखबिरों का सहारा लेने के बाद भी सरिस्का प्रशासन परिणाम में खाली हाथ ही रहा। बाघिन मिलने की उम्मीद खत्म होती देख आखिर में अकबरपुर रेंज में पिछले दिनों बाघिन एसटी-5 के गायब होने को मामला दर्ज किया गया। मामला दर्ज हुए कई दिन बीत गए, लेकिन जांच की रफ्तार धीमी रही।