scriptदो दशक में बदल गया छुटिटयों का स्वरूप , भूल गए चंगा पो और पकड़म पकड़ई, मोबाइल में ही सिमटे खेल | Old Traditional Games Are Replaced By Mobile | Patrika News

दो दशक में बदल गया छुटिटयों का स्वरूप , भूल गए चंगा पो और पकड़म पकड़ई, मोबाइल में ही सिमटे खेल

locationअलवरPublished: Jun 06, 2019 06:02:04 pm

Submitted by:

Hiren Joshi

मोबाइल ने पुराने खेलों को लगभग खत्म कर दिया है। आजकल की पीढी़ को पुराने खेलों की जानकारी तक नहीं है।

Old Traditional Games Are Replaced By Mobile

दो दशक में बदल गया छुटिटयों का स्वरूप , भूल गए चंगा पो और पकड़म पकड़ई, मोबाइल में ही सिमटे खेल

अलवर. करीब दो दशक पहले गर्मी की छुटिटयों का जो मजा था वो अब यादों में ही सिमट कर रह गया है। ना तो पहले जैसे खेल नजर आते हैं और ना ही खेलकूद की भावना। ऐसा लगता है कि अब हम सब मशीनी युग में सिमट गए हैं।
बहुत अच्छी तरह से लोगों को याद है कि जब छुटिटयां शुरु होती थी तो सारा समय मौज मस्ती में ही निकलता था, पढ़ाई की तो केाई चिंता ही नहीं थी। बच्चे अक्सर चंगा पौ, लंगडी टांग, लुका छिपी, पोसमपार, आंख मिचोली जैसे खेल खेलते थे, ताश और करमबोर्ड का तो जवाब ही नहीं होता। घोडा है जो मार खाई खेलते तो लड़कियां भी खूब खेलती थी। लड़कियों को खास तौर से गुटका खेलने का शौक रहता था। जो कि पत्थर की गोटियों की तरह होते थे। गली मौहल्ले में भाग दौड ़वाले खेल खेलते तो पूरा मौहल्ला हिल जाता था। ना दिन का पता चलता था ना देर शाम की खबर होती थी।
बस याद रहता तो यही कि अब तो गर्मी की छुटिटयंा चल रही है। सबसे अच्छा लगता था जब आसपास के घर में कोई बच्चा छुटिटयंा बीताने आता था। वो भी टीम में शामिल हो जाता और दिन भर खूब धमा चौकड़ी मचाता। घर वाले डांटते तो चुप रहकर सह लेते, अगले दिन फिर से वो ही मौज मस्ती। जब खेल कूद से फुर्सत मिलते तो कॉमिक्स की दुकान पर पहुंच जाते। जो भी जेब खर्ची मिलती उसे जोडकऱ कॉमिक्स खरीद लेते। कभी मौका मिलता तो नाना नानी के चले जाते।
लेकिन अब सब कुछ बदल गया है खेलकूद अब घर के आंगन तक सिमट गया है। अब छुटिटयों में बच्चे घर में ज्यादा रहते हैं। सारा दिन मोबाइल ओर टीवी देखते ही निकल जाता है। पता भी नहीं चलता कि घर में बुआ और मामा भी आए हुए हैं। सारी दुनिया मोबाइल में सिमट गई है। अब पुराने खेल यादों में ही सिमट गए हैं। माहौल भी बहुत बदल गया है। लड़कियां बाहर खेलने निकलती है तो घर वाले तुरंत अंदर बुला लेते हैं, बाहर खेलने जाती है तो हर कदम पर उसका ध्यान रखा जाता है।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो