शुद्धता की अभी तक जांच नहीं अलवर शहर में ज्यादातर क्षेत्रों की पेयजल आपूर्ति टैंकरों पर निर्भर है। अकेले अलवर शहर में ही पानी सप्लाई करने वाले टैंकरों की संख्या 250 से 300 के बीच है। पानी सप्लाई के नाम चलने वाले टैंकरों के लिए न कोई नियम है और न ही कोई कानून। किसी विभाग ने यह जांच भी नहीं की कि लोगों के घरों तक महंगे दामों में पहुंच रहा पानी कितना शुद्ध है। इन टैंकरों की जांच की बात तो दूर ज्यादातर टैंकर संचालकों ने किसी भी सरकारी विभाग में पानी सप्लाई के लिए रजिस्ट्रेशन भी नहीं कराया। जबकि पानी की बिक्री भी खाद्य पदार्थों की श्रेणी में आती है और खाद्य पदार्थों की बिक्री के लिए सरकार की ओर से कई नियम बनाए हुए हैं।
अवैध तरीके से बेच रहे पानी : इतना ही नहीं टैंकर संचालक पानी भी अवैध तरीके से भरकर बेच रहे हैं। ज्यादातर टैंकर संचालक कृषि कनेक्शन के नाम पर लगी बोङ्क्षरग से पानी भरकर बेच रहे हैं। जबकि कृषि कनेक्शन की बोङ्क्षरग से पानी भरना और टैंकरों से सप्लाई करना, दोनों अवैध हैं। कृषि कनेक्शन मुख्यत: कृषि कार्य के लिए होता है और यहां से पानी बेचना गैर कानूनी है। यह गैर कानूनी कार्य ज्यादातर बहरोड़ रोड, साठ फीट रोड और जयपुर रोड स्थित कृषि कनेक्शनों पर होता है, लेकिन किसी भी विभाग ने अब तक इनकी जांच नहीं की।
अवैध तरीके से बेच रहे पानी : इतना ही नहीं टैंकर संचालक पानी भी अवैध तरीके से भरकर बेच रहे हैं। ज्यादातर टैंकर संचालक कृषि कनेक्शन के नाम पर लगी बोङ्क्षरग से पानी भरकर बेच रहे हैं। जबकि कृषि कनेक्शन की बोङ्क्षरग से पानी भरना और टैंकरों से सप्लाई करना, दोनों अवैध हैं। कृषि कनेक्शन मुख्यत: कृषि कार्य के लिए होता है और यहां से पानी बेचना गैर कानूनी है। यह गैर कानूनी कार्य ज्यादातर बहरोड़ रोड, साठ फीट रोड और जयपुर रोड स्थित कृषि कनेक्शनों पर होता है, लेकिन किसी भी विभाग ने अब तक इनकी जांच नहीं की।
अधिकारी नहीं उठाते जनता के फोन शहर में पेयजल समस्या दिनों-दिन विकराल रूप लेती जा रही है और जलदाय विभाग के जिम्मेदार अधिकारी उतने ही लापरवाह बने हुए हैं। पेयजल समस्या से त्रस्त लोग जलदाय विभाग के अधिकारियों को फोन करते हैं और अधिकारी उनके फोन तक नहीं उठाते हैं। पेयजल समस्या और प्राइवेट टैंकरों के संचालन के सम्बन्ध में बातचीत के लिए रविवार को जलदाय विभाग के अधिशाषी अभियंता को फोन किया, लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया।
500 से 600 रुपए तक वसूल रहे गर्मी में पेयजल संकट के कारण ज्यादातर लोगों को टैंकरों से पानी मंगवाना पड़ रहा है। अलवर शहर में 3500 से 5000 लीटर क्षमता के पानी के टैंकर हैं। टैंकर संचालकों की ओर से पानी की दर भी निश्चित नहीं है। यही कारण है कि गर्मी में बढ़ती मांग को देखते हुए टैंकर संचालक प्रति टैंकर 500 से 600 रुपए तक वसूलने से गुरेज नहीं कर रहे। हर रोज शहर में लाखों लीटर पानी बेचकर टैंकर संचालक मोटी रकम कमा रहे हैं, जबकि रजिस्ट्रेशन के अभाव में सरकार को राजस्व नहीं मिल रहा।