script24 घंटे तक मेडिकल कॉलेज में Ambulance नहीं मिलने से महिला की मौत, डीएम ने दिए जांच के आदेश | Ambikapur : Inquiry ordered by the DM for not receiving ambulance in medical college for 24 hours | Patrika News

24 घंटे तक मेडिकल कॉलेज में Ambulance नहीं मिलने से महिला की मौत, डीएम ने दिए जांच के आदेश

locationअंबिकापुरPublished: Sep 04, 2017 09:19:00 pm

रायपुर रेफर किए जाने के बाद एंबुलेंस नहीं मिलने से ब्रेन हेमरेज से पीडि़त महिला ने अस्पताल में ही तोड़ दिया था दम, विधायक हुए थे नाराज

Collector in Medical college

Collector reached medical college

अंबिकापुर. मेडिकल कॉलेज अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही व 108 वाहन नहीं मिलने से एक वृद्धा की रविवार की सुबह मौत हो गई थी। इसे लेकर सीतापुर विधायक अस्पताल की व्यवस्थाओं पर सवाल खड़ा करते हुए इस संबंध में कलक्टर से चर्चा की थी।
सोमवार को कलक्टर ने मेडिकल कॉलेज अस्पताल पहुंचकर ओपीडी व वार्डों का निरीक्षण करने के बाद वृद्धा की मौत के मामले में सीएमएचओ को जांच के निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने एम्बुलेंस मिलने में किसकी वजह से देरी हुई इसकी भी जांच करने कहा। निरीक्षण के दौरान उन्होंने ओपीडी की अव्यवस्थाओं को देखते हुए नाराजगी व्यक्त करते हुए जरूरी निर्देश दिए।

मेडिकल कॉलेज अस्पताल में मैनपाट के एक वृद्धा की मौत एम्बुलेंस नहीं मिलने की वजह से रविवार को हो गई थी। इसे लेकर सीतापुर विधायक अमरजीत भगत ने कलक्टर से चर्चा की। इसके बाद विधायक अस्पताल में लगभग तीन घंटे तक बैठे रहे, लेकिन कोई भी जिम्मेदार अधिकारी वहां नहीं पहुंचा।
कलक्टर के निर्देश पर सीएमएचओ डा. एनके पांडेय ने पहुंच वृद्धा की मौत होने पर उसके शव को मुक्तांजलि के माध्यम से गांव भेजा। लेकिन 24 घंटे तक एम्बुलेंस नहीं मिल पाने की वजह से वृद्धा की स्थिति लगातार बिगड़ती गई और अस्पताल प्रबंधन इस मामले में मौन साधे रहा। सोमवार को कलक्टर किरण कौशल मेडिकल कॉलेज अस्पताल निरीक्षण में पहुंची। निरीक्षण के दौरान अस्पताल में उपस्थित सीएमएचओ डॉ. एनके पाण्डेय को उन्होंने काफी कड़े शब्दों में कहा कि रविवार को हुए हादसे के लिए कौन जिम्मेदार है?
इसकी जांच कर जिम्मेदारी तय करें और जांच रिपोर्ट उन्हें भी सौंपे। मेडिकल कॉलेज अस्पताल का निरीक्षण करते हुए चिकित्सा अधिकारियों एवं कर्मचारियों को अस्पताल आने वाले मरीजों को पूरी संवेदनाशीलता एवं सजगता पूर्वक स्वास्थ्य सुविधाए उपलब्ध कराने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि किसी भी मरीज अथवा उनके परिजनों को चिकित्सा अधिकारियों से मिलने के लिए अनावश्यक इंतजार न करना पड़े, इसका विशेष ध्यान रखें। इस दौरान ओपीडी, शिशु रोग, त्वचा रोग, मेडिकल ऑडियोमीटर कक्ष, सोनोग्राफी कक्ष, स्पीचथैरेपी कक्ष का भी निरीक्षण किया गया।

दो काउंन्टर बढ़ाने के दिए निर्देश
कलक्टर ने ओपीडी में मरीजों एवं उनके परिजनों की लंबी कतार को देखते हुुए तत्काल ओपीडी के २ अन्य काउन्टर कम्प्यूटर सेट सहित खोलने के निर्देश दिए, ताकि मरीजों को संबंधित चिकित्सकों को मिलने के लिए लम्बी कतार में न लगना पड़े। उन्होंने शिशु एवं मेडिकल विभाग को त्वचा विभाग के समीप स्थित स्थान पर संचालित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने ऑडियोमीटर एवं स्पीच थैरेपी कक्ष का भी निरीक्षण किया गया। सोनोग्राफी कक्ष का निरीक्षण करने के बाद उन्होंने वहां अतिरिक्त कर्मचारियों की व्यवस्था करने के निर्देश दिए।

मृत महिला के इलाज की ली जानकारी
कलक्टर ने चिकित्सा के दौरान अस्पताल में मैनपाट की मृत 60 वर्षीय वृद्धा गिरीजावती के चिकित्सा के बारे में जानकारी प्राप्त करते हुए सीएमएचओ से कहा कि समय पर 108 वाहन उपलब्ध न करा पाने के कारणों की जांच कराएं तथा इसके लिए जिम्मेदारी तय कर लापरवाही बरतने वाले के विरूद्व कार्यवाही करें। उन्होंने अस्पताल प्रबंधन के अधिकारियों को पूरी संवेदनशीलता एवं तत्परतापूर्वक मरीजों का इलाज सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए। उन्होंने सचेत किया कि अपने दायित्वों में लापरवाही बरतने वाले चिकित्सा अधिकारी एवं कर्मचारियों पर अनुशासनात्मक कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि जिन मरीजों के लिए अस्पताल में स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध न हो, उन्हें तत्काल संबंधित संस्था को रेफर करना सुनिश्चित करें।

गलती छिपाने 18 के प्रभारियों पर बना रहे दबाव
वृद्धा के मौत के मामले में समय पर एम्बुलेंस नहीं मिलने का आरोप विधायक द्वारा लगाया गया था। इसी आधार पर एसडीएम के निर्देश पर 108 के जिला प्रभारी राजेश पाठक व बलरामपुर प्रभारी दीपक नीलकंठ को कोतवाली बुलाया गया था। शाम तक थाने में दोनों को बैठाने के बाद एसडीएम कार्यालय में बुलाया गया और एसडीएम ने उनहें समझाइश देते हुए कहा कि अगर कॉल जाए तो आपकों को कहीं से भी एम्बुलेंस उपलब्ध कराना होगा। इसकी शिकायत मिलने पर कार्रवाई की जाएगी।

एक रेफर वाहन पर पूरे संभाग का दबाव
भले ही इस मामले पर प्रशासन अथवा कॉलेज प्रबंधन 108 को जिम्मेदार बता रही है। लेकिन रिकार्ड के अनुसार शनिवार की रात 8.56 बजे 108 के कॉल सेंटर में फोन किया गया था, कॉल सेंटर द्वारा बताया गया था कि टीएफटी वाहन रायपुर मरीज को लेकर गई हुई है। उसे वापस आने में सुबह हो जाएगी। इसके बाद कलक्टर के निर्देश पर सीएमएचओ ने बलरामपुर जिला प्रभारी दीपक नीलकंठ के मोबाइल पर संपर्क कर वाहन के संबंध मे जानकारी ली गई।
उनके द्वारा राजेश पाठक से सम्पर्क कर लोकल 108 वाहन को अस्पताल भेजा गया। लेकिन मरीज की जानकारी नहीं मिल पाने पर वह वापस लौट आया। जबकि अस्पताल की स्वयं की एम्बुलेंस है, लेकिन उसे न भेजकर पूरी तरह से 108 पर निर्भर हो गया है।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो