scriptछत्तीसगढ़ के इस विधानसभा सीट पर इस बार पार पाना नहीं आसान, त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी भाजपा-कांग्रेस | BJP-Congress traped in triangular fight from this assembly seat | Patrika News

छत्तीसगढ़ के इस विधानसभा सीट पर इस बार पार पाना नहीं आसान, त्रिकोणीय मुकाबले में फंसी भाजपा-कांग्रेस

locationअंबिकापुरPublished: Sep 09, 2018 05:21:25 pm

जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के दावेदार की मजबूती ने दोनों प्रमुख पार्टियों की बढ़ाई मुश्किलें, नए चेहरों ने कर रखा है परेशान

cg election 2018

Election in CG

अंबिकापुर. अविभाजित सरगुजा की प्रतापपुर विधानसभा इकलौती सीट थी, जहां पिछले चुनाव में भाजपा की लाज बची थी। शेष 7 सीट पर करारी शिकस्त झेलने वाली भाजपा के लिए प्रतापपुर सीट से वर्तमान गृहमंत्री रामसेवक पैंकरा की जीत थोड़ी राहत वाली खबर थी, वरना पूरा सूपड़ा ही साफ हो जाता।
पैंकरा ने पूर्व मंत्री डॉ. प्रेमसाय को हराया था, लेकिन 5 साल बाद यह सीट किसकी झोली में जाएगी, इसका आंकलन लगाना मुश्किल है। इस बार प्रतापपुर से चुनावी मैदान में सिर्फ भाजपा-कांग्रेस ही नहीं बल्कि जकांछ भी बराबर की स्थिति में मुकाबले में है। इस सीट को लेकर पूरे प्रतापपुर विधानसभा सहित हर जगह एक ही चर्चा है कि मुकाबला तो त्रिकोणीय होगा।
अब भाजपा के सामने इस सीट को बचाने की चुनौती है तो कांग्रेस ने भी वापसी के लिए पूरी ताकत लगा दी है, लेकिन दोनों की मुश्किल जकांछ के घोषित प्रत्याशी डॉ. नरेंद्र सिंह ने क्षेत्र में अपने मजबूत पैठ से बढ़ा दी है। कुल मिलाकर दोनों राष्ट्रीय दल के लिए जीत की राह बिल्कुल भी आसान नहीं है।
यही तो वजह है कि त्रिकोणीय मुकाबले में फंसे गृहमंत्री के अपना विधानसभा क्षेत्र के बदलने की भी चर्चा है, वे भटगांव से भी चुनाव लड़ सकते हैं। हालांकि प्रतापपुर विधानसभा में भाजपा के पैनल से गृहमंत्री रामसेवक पैंकरा के साथ ही एक चौंकाने वाला बड़ा नाम राज्यसभा सांसद रामविचार नेताम का सामने आ रहा है, इसलिए यह रोचक होगा कि आखिर पार्टी क्या निर्णय लेती है।

नए चेहरों ने बढ़ाईं कांग्रेस की मुश्किलें
दूसरी तरफ कांग्रेस को प्रतापपुर विधानसभा की टिकट पक्की करने में काफी मुश्किल का सामना करना पड़ेगा, क्योंकि इस बार नए चेहरे भी पूरे दम के साथ संगठन के समक्ष ताल ठोके हुए हैं। पार्टी की मीटिंग में इसका नजारा दिख चुका है।
कांग्रेस की ओर से पूर्व विधायक डॉ. प्रेमसाय सिंह के अलावा नंदलाल सिंह श्यामले, देवनारायण मरावी, जगतलाल आयाम, रामदेव जगते, शिवभजन सिंह मरावी, विद्यासागर सिंह आयाम, त्रिभुवन टेकाम, कांति सिंह, तुलसी सिंह व देवसाय मरावी ने टिकट के लिए आवेदन किया है, इसलिए कांग्रेस के समक्ष मुश्किल ये है कि अगर घोषित प्रत्याशी के नाम पर सभी सहमत नहीं हुए तो भीतरघात का सामना करना पड़ सकता है।
इधर जकांछ जोगी के प्रत्याशी डॉ. नरेंद्र सिंह ने क्षेत्र में सघन जनसंपर्क शुरू कर दिया है। पार्टी इन्हें अपना मजबूत प्रत्याशी बताते हुए यह सीट जीतने का दावा कर रही है। कुल मिलाकर इस सीट पर तीनों ही दल में कांटे की टक्कर है। वहीं आप के उम्मीदवार छोटेलाल तिर्की भी समर्थकों के साथ प्रचार में लगे हुए हैं।

सामरी में भी कांटे का मुकाबला
सामरी विधानसभा चुनाव 2013 का परिणाम भाजपा के लिए बड़ा झटका था। भाजपा के गढ़ रहे इस सीट पर पूर्व संसदीय सचिव व पार्टी के दिग्गज नेता सिद्धनाथ पैंकरा को कांग्रेस के डॉ. प्रीतम राम से बड़ी हार झेलनी पड़ी थी। इस बार भाजपा ने सामरी को वापस अपनी झोली में करने के लिए पूरी ताकत झोंक दी है, संगठन स्तर पर भी विधानसभा क्षेत्र में नई रणनीति के तहत काम किया जा रहा है।
कोशिश है कि कांग्रेस के विधायक की डॉक्टर छवि की काट निकाली जा सके। भाजपा की तरफ से टिकट के दावेदारों की बात करें करें तो सिद्धनाथ पैंकरा के अलावा उनकी पत्नी उद्धेश्वरी पैंकरा के साथ ही रामलखन सिंह पैंकरा, तिलासाय व कमला प्रसाद के नाम चर्चा में हैं। यहां इस बार सही प्रत्याशी का चयन भाजपा के लिए बड़ा मुद्दा है।
वहीं कांग्रेस भी इस सीट को दोबारा जीतने की कोशिश में है, क्योंकि पिछले चुनाव में भाजपा के गढ़ में सेंध लगाई थी। कांग्रेस की तरफ से वर्तमान विधायक डॉ. प्रीतम राम सहित 11 दावेदारों ने टिकट मांगा है, इनमें महेश्वर पैंकरा, विजय पैंकरा, महंती भगत, लालसाय मिंज, विजय सिंह, देवशरण राम, विनोद कुमार, ललित कुमार निकुंज व राजेंद्र प्रसाद भगत के नाम शामिल हैं।
पार्टी सूत्रों के मुताबिक एक बार फिर डॉ. प्रीतम राम को टिकट दिया जा सकता है। वहीं जकांछ (जोगी) से कोई नाम अभी सामने नहीं आया है। आम आदमी पार्टी ने सामरी से डॉ. सोहनलाल को प्रत्याशी घोषित किया है, इन्होंने प्रचार-प्रसार भी शुरू कर दिया है।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो