केंद्र सरकार और राज्य सरकार की अनुमति मिलने के बाद परसा कोल ब्लॉक क्षेत्र के साल्ही, हरिहरपुर, जनार्दनपुर, फतेहपुर में परसा कोल ब्लॉक के लिए लाखों पेड़ की कटाई होनी है। इसकी शुरुआत भी हो चुकी थी और वन विभाग ने ३00 से अधिक पेड़ों को काट दिया था। लेकिन ग्रामीणों के विरोध के बाद वन विभाग ने कटाई बंद की है।
इधर जल-जंगल-जमीन को बचाने के लिए ग्रामीण पिछले 80 दिनों से धरना प्रदर्शन करते आ रहे हैं। इसकी गूंज प्रदेश की राजधानी रायपुर से लेकर दिल्ली तक पहुंच गई है। फिर भी किसी प्रकार से जंगल को कटने से बचाने का कोई प्रयास नहीं दिख रहा है। इस कारण ग्रामीण अब उग्र हो चुके हैं।
इसी कड़ी में साल्ही, हरिहरपुर, जनार्दनपुर, फतेहपुर के ग्रामीणों ने शुक्रवार को बड़ी संख्या में एकत्र होकर रैली निकाल एनएच 130 जाम कर दिया। साथ ही रेलवे पटरी पर भी ग्रामीणों ने प्रदर्शन कर अपना विरोध जताया है। आदिवासी ग्रामीणों के इस आंदोलन को छत्तीसगढ़ सर्व आदिवासी समाज व छत्तीसगढ़ क्रांति सेना ने भी समर्थन दिया।
IMAGE CREDIT: Railway track jammed by people वहीं छत्तीसगढ़ के साथ ही अन्य प्रदेश से भी आदिवासी संगठन के लोग साल्ही पहुच आंदोलन में शामिल हुए। इस दौरान आदिवासियों ने राज्य और केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोलते हुए जल-जंगल-जमीन को बचाने की मांग की।
बड़ी संख्या में तैनात रहा पुलिस बल
विरोध प्रदर्शन के दौरान जिला प्रशासन और पुलिस की टीम मौके पर मौजूद रहीए। पुलिस विभाग ने लगभग 500 से अधिक पुलिसकर्मियों की ड्यूटी इस आंदोलन को देखते हुए लगाई थी। उदयपुर एसडीएम अनिकेत साहू ने बताया कि ग्रामीण परसा कोल ब्लॉक के विरोध में प्रदर्शन कर रहे हैं, ग्रामीणों की मांग सरकार को भेजा जाएगा।