scriptपराली मुआवजा वितरण में हुआ बड़ा खेल, सरकार के करोड़ों रुपए हुए धुए में गुल | Punjab News: Big Scam In Parali Burn Compensation Distribution | Patrika News

पराली मुआवजा वितरण में हुआ बड़ा खेल, सरकार के करोड़ों रुपए हुए धुए में गुल

locationअमृतसरPublished: Nov 17, 2019 06:36:20 pm

Submitted by:

Prateek

Punjab News: सरकार (Punjab Government) को जिस वक्त इस खबर की (Parali Burn) भनक लगी कि उस के साथ बहुत बड़ा धोखा हो गया है। तब तक काफी देर हो चुकी थी…

पराली मुआवजा वितरण में हुआ बड़ा खेल, सरकार के करोड़ों रुपए हुए धुए में गुल

पराली मुआवजा वितरण में हुआ बड़ा खेल, सरकार के करोड़ों रुपए हुए धुए में गुल

(फिरोजपुर,धीरज शर्मा): प्रदूषण पर सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद पंजाब सरकार ने आनन—फानन में निर्णय लिया और गैर-बासमती धान की फसल लगाने वाले, पांच एकड़ भूमि के मालिक किसानों को पराली न जलाने के बदले 2500 रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से मुआवजा देने का ऐलान कर दिया। इस संबंध में हलफनामा दायर करने के लिए पंजाब के प्रमुख सचिव को आदेश दिए गए थे। साथ ही आवेदकों का डाटा अपलोड करने के लिए सहकारिता विभाग को भी आदेश जारी किए गए। मुआवजा राशी के वितरण में बड़ी लापरवाही सामने आई है। फर्जी हलफनामा दायर कर लोगों ने करोड़ों रूपए साफ कर दिए।

 

यह भी पढ़ें

Watch Video: गुरुनानक देव के 550वें प्रकाश पर्व पर स्वर्ण मंदिर में हुई जबरदस्त आतिशबाजी


सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार सरकारी बेवसाइट पर डाटा अपलोड करने वाले यूजर की आईडी और पासवर्ड लीक हो गए। जिसके बाद राज्य के अलग—अलग इलाकों में साइबर कैफे वालों के यहां लंबी कतारें लग गई। सरकारी स्कीम का फायदा उठाने के लिए लोगों ने बड़ी संख्या में आवेदन किया। हर गाँव में साइबर कैफे और कंप्यूटर सेंटर वालों ने उन लोगों का भी डाटा और बैंक खाते अपलोड कर दिए जिनके पास न तो जमीन थी और न ही उन्होंने कहीं धान आदि की काश्त की थी। इस तरह डाटा अपलोड होते ही सरकार के करोड़ों रुपए खाता धारकों के खातों में पहुँच गया जोकि उन्होंने उसी वक्त ही एटीएम के द्वारा या फिर बैंक में केश करवा लिया। इसलिए वह लोग भी इस स्कीम का लाभ ले गए जिन के पास न तो जमीन थी या फिर उन्होंने बासमती की खेती की थी।


यह भी पढ़ें

यूं भारत में लाया जा रहा है करोड़ों का अवैध सोना, म्यांमार से जुड़े है तस्करी के तार

 

सरकार को जिस वक्त इस खबर की भनक लगी कि उस के साथ बहुत बड़ा धोखा हो गया है। तब तक काफी देर हो चुकी थी। फाजिल्का जिले के जलालाबाद शहर में से भी प्रशासन ने एक दुकान से दो कंप्यूटर जब्त किए हैं। और संचालक के खिलाफ एफ.आई.आर दर्ज की गई है। जबकि एक अन्य गाँव ख्यो वाली बोदला में से भी पुलिस द्वारा कंप्यूटर को कब्जे में ले कर जांच की जा रही है। जबकि दोशियों को मामूली नजराने के बाद गाँव में ही छोड़ दिया गया। इस सबंधी जिले के डिप्टी कमिशनर मनप्रीत सिंह छत्तवाल के साथ संपर्क किया गया तो उन्होंने कहा कि यह धाँधली पूरे राज्य स्तर की है। पुलिस को जांच करने के लिए आदेश दे दिए गए हैं और किस सहकारिता विभाग या पंचायत विभाग के सचिव से इस के पासवर्ड और आई.डी. लीक हुई हैं का पता लगाया जाएगा और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। अगले आदेशों तक सरकार की तरफ से यह पोर्टल बंद कर दिया गया है।

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो