अनूपपुरPublished: Jan 21, 2019 07:41:14 pm
shivmangal singh
कांग्रेस सरकार में प्रदेश के अंदर बढ़ गई अराजकता, काननू व्यवस्था हुई लचर
कार्यकर्ताओं की निर्मम हत्या के विरोध में भाजपा ने मुख्यमंत्री का फूंका पुतला
अनूपपुर। 20 जनवरी को बड़वानी जिलांतर्गत बलबाड़ी मंडल अध्यक्ष मनोज ठाकरे तथा मंदसौर नगरपालिका अध्यक्ष के निर्मम हत्या के विरोध में भाजपा कार्यकर्ताओं का आखिरकार गुस्सा सरकार के खिलाफ फूट पड़ा, जहां हत्या के विरोध में सोमवार 21 जनवरी की दोपहर अनूपपुर भाजपा ईकाइ कार्यकर्ताओं ने इंदिरा तिराहा पर प्रदेश शासन एवं मुख्यमंत्री का पुतला दहन किया। कार्यकर्ताओं ने पुतला दहन के साथ सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। पुतला दहन के दौरान मौके प सुरक्षा व्यवस्थाओं के लिए दर्जनभर से अधिक पुलिस तैनात रही। पुतला दहन से पूर्व भाजपा कार्यकर्ताओं ने प्रदेश की वर्तमान सरकार पर जमकर निशाना साधते हुए प्रदेश में अराजकता के बढोत्तरी होने की बात कही। भाजपा जिला अध्यक्ष आधाराम वैश्य ने कहा प्रदेश के अंदर सत्ता परिवर्तन के बाद भाजपा के कार्यकर्ताओं की जहां हत्या हो रही है वहीं कानून व्यवस्था पूरी तरह से पटरी से उतर चुकी है। कमलनाथ के मुख्यमंत्री बनने के बाद से प्रदेश के अंदर लूटपात, डकैती, चोरी, हत्या, गुंडागर्दी जैसे अपराधिक घटनाओं में वृद्धि हुई है। यदि समय रहते प्रदेश सरकार आपराधिक घटनाओं पर लगाम नहीं लगाती है तो इसका परिणाम ठीक नहीं होगा। भाजपा जिला अध्यक्ष ने भाजपा कार्यकर्ता व पदाधिकारियों की हो रही हत्या पर चिंता व्यक्त करते हुए इसकी कड़ी निंदा की। उन्होंने कहा कि प्रदेश के अंदर मौजूदा सरकार पूरी तरह से कानून व्यवस्था कायम रखने में विफल हो गई है। कांग्रेस के सत्ता में आते ही अपराधियों के हौसले बुलंदियों पर हैं। सरकार के लक्षण शुरू से ही ठीक नहीं दिखाई दे रहे है। लोकसभा के चुनाव प्रभारी अनिल गुप्ता ने कहा कि कांग्रेस के मुख्यमंत्री कमलनाथ के कुर्सी संभालते ही भाजपा के लोगों को निशाना बनाया जा रहा है। भाजपा ऐसी सरकार की घटिया सोच का विरोध करेगी। यदि सरकार अपने कार्यशैली में बदलाव नहीं लाती है तो उसे परिणाम भुगतना के लिए तैयार रहना होगा। कार्यक्रम में जिला अध्यक्ष आधाराम वैश्य, लोकसभा चुनाव संयोजक अनिल गुप्ता, रामदास पुरी, जितेन्द्र सोनी, भूपेन्द्र सिंह सेंगर, अशोक लाल, नरेन्द्र मरावी, राजेश सिंह, सुनील गौतम, सुनीता सिंह, रश्मि खरे, नीलमा अग्रवाल, हीरा सिंह श्याम, केशव सिंह धुर्वे, चंद्रिका द्विवेदी, सुरेन्द्र केवट, शिवरतन वर्मा सहित अन्य कार्यकर्ता शामिल रहे।