अनूपपुर

केवीएस ने मांगी पूरी बिल्डिंग, एक्सीलेंस प्राचार्य ने कहा कहां संचालित होगी हमारी कक्षाएं

कलेक्टर ने प्राचार्यो को बुलाकर एक्सीलेंस स्कूल में ही व्यवस्था बनाने दिए निर्देश, प्राचार्य की बढ़ी मुसीबत

अनूपपुरApr 10, 2019 / 08:15 pm

Rajan Kumar Gupta

केवीएस ने मांगी पूरी बिल्डिंग, एक्सीलेंस प्राचार्य ने कहा कहां संचालित होगी हमारी कक्षाएं

अनूपपुर। केन्द्रीय विद्यालय के प्राथमिक कक्षाओं के संचालन में अब केवीएस तथा एक्सीलेंस स्कूल की व्यवस्थाओं को लेकर पेंच फंसता नजर आ रहा है। हाल के दिनों में केन्द्रीय विद्यालय कमिश्नर जबलपुर ने एक्सीलेंस स्कूल का मुआयना करते हुए केन्द्रीय विद्यालय संगठन ने अपनी मानकों के अनुरूप एक्सीलेंस स्कूल की १५-२० कक्षाओं के साथ पूरी बिल्डिंग की ही मांग की है। जिसपर स्कूल प्राचार्य ने अपनी व्यवस्थाओं के अनुरूप पूरी बिल्डिंग देने इंकार कर दिया है। इसके बाद भवनों के अभाव में केन्द्रीय विद्यालय की कक्षाओं का मुद्दा फिर से गरमा गया है। एक्सीलेंस प्राचार्य की मनाही की जानकारी केवीएस कमिश्नर जबलपुर ने कलेक्टर को दी। कलेक्टर ने आनन फानन में जिला मुख्यालय की पूर्व चयनित तीन स्कूलों एक्सीलेंंस स्कूल अनूपपुर, शासकीय मॉडल स्कूल अनूपपुर तथा शासकीय एकलव्य स्कूल अनूपपुर के प्राचार्यो की बैठक बुलाते हुए पूर्व प्रस्तावित एक्सीलेंस स्कूल में ही कक्षाओं के संचालन का फरमान जारी कर दिया है। जिसके बाद एक्सीलेंस स्कूल प्राचार्य की मुसीबत बढ़ गई है। एक्सीलेंस स्कूल के शिक्षकों का कहना है कि बिना केन्द्रीय विद्यालय संगठन और एक्सीलेंस स्कूल के आपसी समन्वय से ही इस समस्या का हल निकाला जा सकता है। अगर केवीएस की मांगों के अनुरूप अधिक कक्षाओं को सौंपा जाएगा तो एक्सीलेंस स्कूल की सुबह की पाली की जगह दोपहर की पाली लगानी होगी। लेकिन इसके लिए केन्द्रीय विद्यालय संचालक को दोपहर १२ बजे तक स्कूल खाली करना होगा। जिसके उपरांत दोपहर १२ बजे से शाम ५ बजे तक एक्सीलेंस स्कूल की कक्षाओं का संचालन कराया जा सकेगा। लेकिन केन्द्रीय विद्यालय संचालक ने सुबह ७ बजे से लेकर दोपहर २ बजे तक पूरी स्कूल परिसर की मांग रखी है। ऐसी स्थिति में एक मात्र विकल्प है कि केन्द्रीय विद्यालय संचालक और एक्सीलेंस प्राचार्य आपसी सहमति पर कम कक्षाओं में एक साथ स्कूल संचालन पर रणनीति तैयार कर सकते हैं। लेकिन दोनों ही परिस्थितियों में छात्र-छात्राओं को परेशानियों का सामना करना पड़ेगा। बताया जाता है कि वर्तमान में एक्सीलेंस स्कूल परिसर में लगभग २५ कक्ष बने हुए हैं, जिनमें ७ कक्षों में कार्यालय सहित लैब और स्टोर बने है तथा १० कक्षों में अध्यापन कार्य सम्पन्न कराए जाते हैं। इसके अलावा संकुल के ४ कक्ष तथा बीईओ कार्यालय के ४ कक्ष बने खाली पड़े हैं। केन्द्रीय विद्यालय की मांग है कि उन्हें कम से कम १५-२० कक्ष चाहिए। इतनी संख्या में केवीएस को कक्षाएं उपलब्ध कराने पर एक्सीलेंस स्कूल के बच्चे कहां बैठ पाएंगे।
बॉक्स: बिना कार्ययोजना बनाए लौटी कमिश्नर
जबलपुर से आई केवीएस कमिश्नर ने एक्सीलेंस स्कूल में कक्षाओं के संचालन पर स्कूल का निरीक्षण करते नए भवन वाली बिल्डिंग के साथ बच्चों के खेल परिसर की मांग करते हुए पूरी बिल्डिंग की ही मांग रखी। इस पर एक्सीलेंस प्राचार्य ने बिल्डिंग देेने से इंकार कर दिया। उनका कहना था कि नए द्वितीय भवन में १७ कक्षों में १० कक्षों में अध्यापन का कार्य कराया जाता है। शेष ७ कक्षों में लैब, कार्यालय, अन्य विभागीय कार्यालय संचालित है। अगर समन्वय बनाया जाए तो नए भवन के ८-१० कक्षों को खाली कर केवीएस की प्राथमिक कक्षाओं के लिए दिया जा सकता है। एक्सीलेंस के बच्चों को अन्य पुराने भवन में बैठाया जा सकता है। लेकिन इसपर बिना कोई बातचीत किए कमिश्नर वापस लौट गई।
बॉक्स: कक्षा ९ वीं से १२वीं तक होता है संचालन
एक्सीलेंस स्कूल परिसर में कक्षा ९वीं से कक्षा १२ वीं तक संचालन कराया जाता है। जिसमें विभिन्न संकायों की अलग अलग कक्षाएं लगाई जाती है।
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