घटना बुधवार सुबह करीब साढ़े सात बजे रांवसर गांव के पास की है। बड़ागांव निवासी 26 वर्षीय रितु पत्नी भानुप्रताप शर्मा की कॉलेज में बीए छठवे सेमेस्टर की परीक्षा थी। रितु को उसका देवर 28 वर्षीय देवेंद्र पुत्र सुंदरलाल शर्मा बाइक से शहर के शासकीय नेहरू स्नातकोत्तर कॉलेज तक छोडऩे जा रहा था और साथ में भतीजा तीन वर्षीय कैलाश पुत्र भानुप्रताप शर्मा भी था। जो बाइक से करीब करीब डेढ़ किमी दूर मुख्य सड़क पर पहुंचे ही थे, उसी समय ट्रक ड्राईवर ने वहां खड़े ट्रक को बैक करते समय बाइक को कुचल दिया।
इससे बाइक सवार देवर, भाभी और भतीजा ट्रक के नीचे दब गए, लोगों ने आवाज लगाई तो क्लीनर ने उतरकर लोगों को कुचला देखकर चिल्लाकर ड्राईवर को बताया तो ड्राईवर ट्रक को पीछे की वजाय आगे की तरफ लेकर भाग गया और फिर से ट्रक तीनों के ऊपर से निकल गया और तीनों ही मृतकों के शव ट्रक में फंसकर करीब आधा किमी दूर तक घिसटते गए और उनकी बाइक भी ट्रक में फंसकर करीब डेढ़ किमी दूर तक घिसटती गई। इससे मृतकों के शवों के टुकड़े-टुकड़े हो गए तो बाइक के सामान भी कई हिस्सों में टूटकर सड़क पर फैल गए।
ट्रक पकड़ाया और ड्राईवर-क्लीनर फरार
घटना के बाद पुलिस ने ट्रक आरजे 11 जीए 4718 को पकड़ लिया है। लेकिन ट्रक चालक और क्लीनर ट्रक को छोड़कर भाग गया। सड़क पर पड़े मांस के टुकड़ों और शवों के भयानक मंजर को देखकर लोगों ने बोरियों और तिरपालों से ढंका। पुलिस ने लोगों की मदद से उन टुकड़ों को खरोंच-खरोंचकर सड़क से उठवाया और पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल भिजवाया।
पति आ रहा था छोडऩे, घर काम था इसलिए भाई को भेजा-
मृतकों के परिजनों ने बताया कि सुबह रितु को परीक्षा दिलाने के लिए पति भानुप्रताप शर्मा जा रहा था। लेकिन घर पर कुछ काम आ जाने से भानुप्रताप ने अपने भाई देवेंद्र को भेज दिया। इसी दौरान उनका तीन वर्षीय बेटा कैलाश भी साथ जाने की जिद पर अड़ गया। इससे वह उसे भी साथ लेकर शहर आ रहे थे, लेकिन कॉलेज तक पहुंचने से पहले ही परिवार के इन तीनों सदस्यों की मौत हो गई।
घर से निकलीं तीन अर्थियां, एक साथ अंतिम संस्कार-
दोपहर के समय जब तीनों शव गांव पहुंचे तो पूरे गांव का माहौल गमगीन हो गया। एक ही घर से तीन अर्थियां निकलीं और तीनों मृतकों का एक साथ ही अंतिम संस्कार किया गया। रितु और उसके बेटे कैलाश को एक चिता और देवर देवेंद्र का दूसरी चिता पर अंतिम संस्कार किया गया।
प्रत्यक्षदर्शी ने बताई घटना-
जिस जगह पर घटना हुई वहीं पर प्रत्यक्षदर्शी संतोष यादव मौजूद था। संतोष यादव ने बताया कि वह अपने मकान की तराई कर रहा था और सड़क पर ट्रक खड़ा हुआ था, ट्रक में तेज आवाज में गाना बज रहे थे। अन्य वाहन सामने से आने से बाइक ट्रक के पीछे खड़ी थी, तभी ट्रक ड्राईवर ने ट्रक बैक किया और बाइक सहित तीनों को कुचल दिया।
चिल्लाकर मैंने आवाज लगाई तो ट्रक से क्लीनर नीचे उतरा और उसने लोगों को मृत देखकर चिल्लाकर ड्राईवर से कहा तो ड्राईवर ट्रक को आगे की तरफ लेकर भाग गया। इससे फिर से ट्रक शवों को कुचलता निकल गया और क्लीनर भी चलते ट्रक में चढ़ गया।