शहर की हिंदू उत्सव समिति रविवार को 221 मीटर लंबी चुनरी यात्रा निकालेगी। जो सुबह आठ बजे सराफा बाजार स्थित हनुमान मंदिर से शुरू होगी और सुभाषगंज, तुलसी पार्क सहित नगेश्री चौराहा, मगरदा, मोहरी और सिकंदरा होते हुए 10 किमी दूर पैदल चलकर तूमैन गांव पहुंचेगी।
समिति लगातार तीन साल से यह चुनरी यात्रा निकाल रही है, जिसमें सैंकड़ों की संख्या में श्रद्धालु शामिल होकर मां विध्यवासिनी के दरबार में पहुंचते हैं और माता को विधि-विधान से चुनरी अर्पित करते हैं।
वहीं संस्कृति सदभावना समिति भी दिन में तीन बजे से शहर के लवकुश मंदिर से 251 मीटर लंबी चुनरी यात्रा निकालेगी, जो शीतला माता मंदिर पहुंचेगी। जहां पर माता को चुनरी चढ़ाई जाएगी। महाभारत के समय की नगरी है तूमैन-
लोगों की मानें तो तूमैन महाभारतकालीन नगरी है। कहा जाता है कि यहां पर मोरध्वज का राज था। मंदिर के पुजारी के अनुसार इस नगरी का विवरण कथाओं में भी आता है।
लोगों की मानें तो तूमैन महाभारतकालीन नगरी है। कहा जाता है कि यहां पर मोरध्वज का राज था। मंदिर के पुजारी के अनुसार इस नगरी का विवरण कथाओं में भी आता है।
किवदंती है कि तूमैन नगरी में करीब पांच हजार साल पहले मिट्टी की बारिश हुई थी, इससे यह प्राचीन स्थल पूरी तरह से मिट्टी में दब गया था। इससे आज भी इस गांव में गहरी खुदाई करने पर पुराने भवनों के अवशेष मिलते हैं और पुरातन सामग्री भी मिलती है। तूमैन में मां विध्यवासिनी का मंदिर भी सैंकड़ो वर्ष पुराना है।
शुरू हुई यात्रा…
नवरात्रि पर सुबह आठ बजे सराफा बाजार स्थित हनुमान मंदिर से 221 मीटर लंबी चुनरी यात्रा शुरू हुई जो सुभाषगंज, तुलसी पार्क सहित नगेश्री चौराहा, मगरदा, मोहरी और सिकंदरा होते हुए 10 किमी दूर पैदल चलकर तूमैन गांव पहुंचेगी। वहीं संस्कृति सदभावना समिति भी दिन में तीन बजे से शहर के लवकुश मंदिर से 251 मीटर लंबी चुनरी यात्रा निकालेगी, जो शीतला माता मंदिर पहुंचेगी।
नवरात्रि पर सुबह आठ बजे सराफा बाजार स्थित हनुमान मंदिर से 221 मीटर लंबी चुनरी यात्रा शुरू हुई जो सुभाषगंज, तुलसी पार्क सहित नगेश्री चौराहा, मगरदा, मोहरी और सिकंदरा होते हुए 10 किमी दूर पैदल चलकर तूमैन गांव पहुंचेगी। वहीं संस्कृति सदभावना समिति भी दिन में तीन बजे से शहर के लवकुश मंदिर से 251 मीटर लंबी चुनरी यात्रा निकालेगी, जो शीतला माता मंदिर पहुंचेगी।