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इसलिए किया गया है फैसला
अफगानिस्तानी मीडिया के मुताबिक यह फैसला इसलिए लिया गया है ताकि विभिन्न प्रांतों की राजधानी में तालिबानी घुसपैठियों का पता लगाया जा सके। अफगानी सुरक्षा एजेंसियों द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार सुरक्षा बलों ने बीते 24 घंटे में 262 तालिबानी लड़ाकों को मार गिराया। वहीं इस दौरान 176 तालिबानी घायल हो गए। हालांकि तालिबान ने इन आंकड़ों से साफ मना कर दिया है। अमरीकी फौजों ने मई माह में अफगानिस्तान को छोड़ना शुरू कर दिया था। इसके बाद से तालिबान लगातार कहर बरपा रहा है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि तालिबान ने देश के 170 जिलों पर अपना कब्जा जमा लिया है।
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काफी समय से चल रही है लड़ाई
गौरतलब है कि अमरीका द्वारा अफगानिस्तान से अपने सैनिकों को वापस बुलाने के फैसले के बाद यहां पर तालिबान तेजी से उभर रहा है। यहां पर कई इलाकों में जमकर मारकाट की गई है। सिपाहियों के साथ आम लोगों को मौत के घाट उतार दिया गया। इस बीच कांधार के बाहरी इलाकों में तालिबान और अफगानी फौज की जबरदस्त लड़ाई हुई। अमरीका ने 22 जुलाई को आतंकियों के कब्जे वाले इलाकों पर हवाई हमले किए थे। हालांकि तालिबान ने अमरीकी हमलों का विरोध कर इसे दोहा समझौते का उल्लंघन करार दिया था।