मौलाना के खिलाफ शिकायत वापस न लेने पर केरोसिन छिड़ककर को जिंदा जला दिया गया था। अभियोजक हाफिज अहमद ने भीड़ के बीच अदालत में फैसला सुनाए जाने के बाद पत्रकारों से कहा कि यह फैसला नजीर है। यह साबित करता है कि बांग्लादेश में कोई हत्यारा कानून से नहीं बचेगा।
19 साल की नुसरत जहां रफी को उनके इस्लामिक स्कूल की छत पर ही जलाया गया था। उन्होंने स्कूल के मौलाना पर यौन शोषण का आरोप लगाया था। उन पर मिट्टी का तेल तेल डालकर आग लगाकर हत्या कर दी। नुसरत ने मौलाना के खिलाफ दर्ज कराई थी। उन पर शिकायत वापस लेने का खासा दबाव बनाया गया, लेकिन उन्होंने शिकायत वापस नहीं ली।