आईएसएस पर खतरा बढ़ रहा नेशनल एरोनॉटिक्स एंड स्पेस एडमिनिस्ट्रेशन (नासा) के प्रशासक जिम ब्रिडेनस्टाइन ने सोमवार को कहा कि भारत ने अपने स्वयं के उपग्रहों को ध्वस्त कर अंतरिक्ष में लगभग 400 टुकड़े का कक्षीय मलबा तैयार किया है।
नासा प्रमुख ने चेतावनी दी कि अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) के साथ मलबे के टकराने का खतरा भारतीय एंटी-सेटेलाइट हथियार परीक्षण के बाद 44 प्रतिशत बढ़ गया है। पाकिस्तान के विदेश कार्यालय (एफओ) ने एक बयान में कहा कि इस परीक्षण के द्वारा तैयार अंतरिक्ष मलबे से अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) पर खतरा बढ़ रहा है। उसने भारत द्वारा आयोजित (ASAT) परीक्षण पर गहरी चिंता व्यक्त की है।
अंतरिक्ष एजेंसियों के बीच एक संयुक्त परियोजना आईएसएस एक रहने योग्य कृत्रिम उपग्रह है,जो 330 से 435 किमी की ऊँचाई पर पृथ्वी की परिक्रमा करता है। यह अमरीका, रूस, जापान, यूरोप और कनाडा की अंतरिक्ष एजेंसियों के बीच एक संयुक्त परियोजना है और वैज्ञानिकों के लिए अंतरिक्ष प्रयोगों का संचालन करने के लिए एक अनुसंधान प्रयोगशाला के रूप में कार्य करता है। 18 देशों के 236 अंतरिक्ष यात्रियों ने नवंबर 2000 के बाद से कई बार अंतरिक्ष स्टेशन का दौरा किया है।