कार्यशाला की प्रथम प्रस्तुति राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान (रूसा)उत्तर प्रदेश के पूर्व उप निदेशक डॉक्टर आलोक कुमार श्रीवास्तव द्वारा की गई। डॉक्टर श्रीवास्तव ने विस्तार से नैक की परिवर्तित मूल्यांकन प्रणाली के विषय में बताया तथा उन बिंदुओं पर प्रतिभागियों को जानकारी दी जो पूर्व की मूल्यांकन प्रणाली की तुलना में नए है। उन्होंने सभी प्रतिभागियों विशेषकर महाविद्यालयों के आई क्यू ए सी प्रभारियों से अनुरोध किया कि वे परिवर्तित नियमों के अनुसार अपनी तैयारियां शुरू कर दें।
कार्यशाला की द्वितीय प्रस्तुति क्षेत्रीय उच्च शिक्षा अधिकारी तथा मूल्यांकन प्रणाली विशेषज्ञ डॉक्टर अश्विनी कुमार मिश्रा द्वारा की गई जिन्होंने एकेडमिक ऑडिट प्रणाली के बारे में अत्यंत जानकारी पूर्ण और रोचक वक्तव्य दिया। उन्होंने एकेडमिक ऑडिट प्रणाली के सभी बिंदुओं के विषय में विस्तार से जानकारी देते हुए प्रतिभागियों को इस बारे में भी सूचित किया कि कैसे मांगी गई सूचनाओं को पहले से ही संकलित और तैयार किया जा सकता है । दोनों प्रस्तुतियों के बाद एक प्रश्न सत्र का भी आयोजन किया गया जिसमें अनेक शिक्षकों ने अपनी जिज्ञासाओं और प्रश्नों का समाधान प्राप्त किया ।
कार्यक्रम का संचालन विवि आई क्यू ए सी के सदस्य तथा रक्षा अध्ययन विभाग के आचार्य प्रो. हर्ष कुमार सिन्हा ने किया। कार्यशाला में अनेक अधिष्ठताओं और विभागाध्यक्षों सहित बड़ी संख्या में शिक्षक उपस्थित रहे।
कार्यशाला की द्वितीय प्रस्तुति क्षेत्रीय उच्च शिक्षा अधिकारी तथा मूल्यांकन प्रणाली विशेषज्ञ डॉक्टर अश्विनी कुमार मिश्रा द्वारा की गई जिन्होंने एकेडमिक ऑडिट प्रणाली के बारे में अत्यंत जानकारी पूर्ण और रोचक वक्तव्य दिया। उन्होंने एकेडमिक ऑडिट प्रणाली के सभी बिंदुओं के विषय में विस्तार से जानकारी देते हुए प्रतिभागियों को इस बारे में भी सूचित किया कि कैसे मांगी गई सूचनाओं को पहले से ही संकलित और तैयार किया जा सकता है । दोनों प्रस्तुतियों के बाद एक प्रश्न सत्र का भी आयोजन किया गया जिसमें अनेक शिक्षकों ने अपनी जिज्ञासाओं और प्रश्नों का समाधान प्राप्त किया ।
कार्यक्रम का संचालन विवि आई क्यू ए सी के सदस्य तथा रक्षा अध्ययन विभाग के आचार्य प्रो. हर्ष कुमार सिन्हा ने किया। कार्यशाला में अनेक अधिष्ठताओं और विभागाध्यक्षों सहित बड़ी संख्या में शिक्षक उपस्थित रहे।