भक्तों ने किया नागेश्नरनाथ के दर्शन भोर 4 बजे से ही श्रद्धालुओं का समूह सरयू स्नान करने के लिए भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी। सरयू स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने भोले बाबा की पीठ नागेश्वरनाथ की ओर रुख किया। नागेश्वरनाथ सावन माह के साथ ही आस्था के केंद्र में थे। गुरुवार और शुक्रवार को सावन की पूर्णाहुति के साथ इस आस्था का शिखर देखने को मिला। नागेश्वर नाथ दर्शन के बाद हनुमानगढ़ी, कनक भवन और रामलला के दरबार में पहुंचने लगा। नागेश्वर नाथ में गर्भगृह संकरा होने के चलते सुबह 7 से 9 बजे तक भीड़ नियंत्रण के लिए पुलिस को कड़ा संघर्ष करना पड़ा।
यह भी पढ़ें – आजादी के अमृत महोत्सव: योगी सरकार का नया तोहफा, स्वतंत्रता दिवस पर फ्री दिखाई जाएंगी फिल्में राम नगरी के मंदिरों में झूलन उत्सव के मौके पर साज सज्जा की गई। गुरुवार की शाम भाव-भक्ति और संगीत के चरम में डुबकी लगाते हुए एक वर्ष के लिए विसर्जित हुआ। इसके साथ ही भक्तों का प्रवाह भी राम नगरी से आस्था की रज लेकर अपने-अपने घर की घर की ओर वापस लौटा।