अयोध्या में राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक के दूसरे दिन में परिसर के साथ जोड़ कर बाहरी क्षेत्र के विकास पर मंथन किया गया। इस दौरान निर्माण समिति के चेयरमैन व पीएम नरेंद्र मोदी के विशेष सलाहकार के रूप में रहे पूर्व आईएएस नृपेंद्र मिश्र राम मंदिर ट्रस्ट के साथ प्रदेश सरकार और स्थानीय अधिकारियों ने बैठक कर सामूहिक मंथन किया। इस दौरान अयोध्या के विकास को लेकर तैयार किए गए माडल को भी प्रस्तुत किया गया।
राम मंदिर ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरि के मुताबिक कमिश्नर की टीम ने विकास की जो तस्वीर पेश की वह बेहद सुखद रही है।इसमें प्रभु राम के सांस्कृतिक राज्य की तस्वीर दिखाई देखी। उन्होंने कहा कि अयोध्या के संपूर्ण परिसर की जो योजना योगी सरकार ने तैयार की है उसमें एयरपोर्ट से लेकर गरीबी कैसे दूर की जाए साफ सफाई व निराश्रित महिलाओं के पुनर्वास तक की योजनाओं को शामिल किया गया है। वही बताया कि राम मंदिर पद्धति पर अयोध्या के विकास का कार्य किया जाएगा जिससे मंदिर और अयोध्या एक ही रूप में दिखाई दें।
श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपतराय ने कहा राम मंदिर से ताल मेल बना कर ही अयोध्या का विकास कैसे किया जाए इसको लेकर संबंधित अधिकारियों से प्रस्तावित विकास योजनाओं पर चर्चा की गई. महासचिव चंपत राय ने कहा 70 एकड़ परिसर व सम्पूर्ण अयोध्या के समग्र विकास पर चर्चा हुई।परिसर के अंदर परिसर के बाहर का तालमेल जरूरी। और कहा कि 5 वर्ष के बाद अयोध्या की स्थिति में परिवर्तन होगा। आने वाले समय मे भारी भीड़ अयोध्या में आएगी।भीड़ को देखते हुए श्रद्धालुओं के लिए सुविधाएं जरूरी,सड़के जरूरी, पार्किंग जरूरी है।इस पर सरकार व जिला प्रशासन भी मंथन कर रहा है। श्रद्धालु अयोध्या आए तो कम से कम दो-तीन दिन जरूर ठहरे, उन श्रद्धालुओं के लिए व्यवस्था पर चिंतन,आज राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक में करीब डेढ़ घंटे होमवर्क हुआ।
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