अयोध्या में 24 अक्टूबर से दीपोत्सव कार्यक्रम का प्रमुख पर्व मनाया जाएगा। जिसे देखते हुए लाखों की संख्या में दर्शक और श्रद्धालु अयोध्या पहुंचेंगे। उनकी सुरक्षा को लेकर जिला प्रशासन ने पुख्ता इंतजाम किए हैं। वहीं 17 अक्टूबर को अयोध्या मामले की सुनवाई का आखिरी दिन है। जिसके बाद 17 नवंबर के पहले पहले इस विवादित मसले पर सुप्रीम कोर्ट की पांच सदस्यीय संविधान पीठ का फैसला भी आ सकता है। इस दृष्टिकोण से भी अयोध्या में सुरक्षा को लेकर इंतजाम किए जा रहे हैं। धार्मिक नगरी में धारा 144 लगाकर पाबंदी की गई है। बिना अनुमति के किसी भी आयोजन पर रोक लगा दी गई है और आम लोगों के बीच पुलिस प्रशासन या संदेश देने की कोशिश कर रहा है कि कार्यक्रम आयोजनों से लेकर राम मंदिर मुकदमे की सुनवाई और फैसले तक अयोध्या में किसी प्रकार की कोई समस्या नहीं।
अयोध्या में सुरक्षा को लेकर बड़ी संख्या में सुरक्षाकर्मियों की तैनाती भी की जा सकती है। जिसे दृष्टिगत रखते हुए सुरक्षाकर्मियों के ठहरने के लिए स्कूल कॉलेजों के भवन का चयन किया जा रहा है, जहां पर फोर्स के रुकने की व्यवस्था की जाएगी। हालांकि जिला प्रशासन के अधिकारी आधिकारिक रूप से इस बात की पुष्टि नहीं कर रहे हैं, लेकिन सूत्रों के अनुसार शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को से स्कूलों की सूची भी मांगी जा चुकी है जहां पर सुरक्षाकर्मी आवश्यकता पड़ने पर रह सकते हैं और यह इंतजाम जिले के शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों पर हो रहे हैं।