बता दें कि पिछले दिनों मंडलायुक्त कनक त्रिपाठी को पिछले दिनों अशासकीय सहायता प्राप्त जूनियर हाई स्कूलों में प्रधानाध्यापकों, सहायक अध्यापकों की नियुक्ति नियम के विरूद्ध करने की शिकायत मिली थी। इस मामले में आयुक्त ने अपर आयुक्त (प्रशासन) अनिल कुमार मिश्र की अध्यक्षता में चार सदस्यीय टीम का गठन कर मामले की जांच करायी थी।
इसमें जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी जनपद के 20 अशासकीय सहायता प्राप्त जूनियर हाई स्कूलों में 20 प्रधानाध्यापकों के चयन का अनुमोदन, 34 अशासकीय सहायता प्राप्त जूनियर हाई स्कूलों में कला वर्ग व भाषा अध्यापक के पद पर नियुक्ति का बिना परीक्षण किये ही 45 अध्यापकों के चयन का अनुमोदन तथा 20 अशासकीय सहायता प्राप्त जूनियर हाई स्कूलों में 20 सहायक अध्यापकों के चयन का अनुमोदन नियम विरूद्ध करने का दोषी पाया गया था।
इस ममाले में आयुक्त ने जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी देवेंद्र पांडेय, पटल सहायक संजीव कुमार श्रीवास्तव के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की थी। इसके अलावा अजमतगढ़, रानी की सराय, पल्हनी, अतरौलिया, हरैया, जहानागंज, मुहम्मदाबाद गोहना, महराजगंज पवई तथा फूलपुर के खण्ड शिक्षा अधिकारी भी अनियमितता के दोषी पाए गए थे।
आयुक्त की संस्तुति पर शासन ने जहां बीएसए को तत्काल प्रभाव से निलम्बित कर उन्हें बेसिक शिक्षा निदेशालय लखनऊ से सम्बद्ध कर दिया है वहीं बीसएस के साथ ही प्रकरण में संलिप्त पाये जाने पर पटल सहायक संजीव कुमार श्रीवास्तव संलिप्त समस्त खण्ड शिक्षा अधिकारियों एवं सम्बन्धित विद्यालयों के प्रबन्धकों के विरुद्ध एफआईआर भी दर्ज कराने का निर्देश दिया है।
शासन द्वारा प्राप्त निर्देश के क्रम में मण्डलायुक्त कनक त्रिपाठी ने प्रकरण में संलिप्त पटल सहायक खण्ड शिक्षा अधिकारियों, प्रबन्धकों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराने के साथ ही विभागीय कार्यवाही तत्काल कराने हेतु एडी बेसिक को निर्देशित किया है।