मुख्यालय पंचायती राज की ओर से डीपीआरओ कार्यालय में रिपोर्ट भेजी गई है। इसमें सोलर लाइट स्थापना में ग्राम पंचायत स्तर पर कार्य का जो विवरण प्रस्तुत किया गया है, उसके अनुसार कुल 50 सोलर लाइट का जिक्र है। जिस पर ग्राम पंचायत ने 10 लाख 70 हजार रुपये व्यय किया जाना दर्शाया गया है। 16 सोलर लाइट की मरम्मत पर एक लाख, 26 हजार, 339 रुपये व्यय दिखाया गया है। ग्राम पंचायत की ओर से प्लान प्लस पर अपलोड की गई कार्ययोजना से मिलान में पाया गया कि विद्युतीकरण का कार्य कर लिया गया है, जिस पर 22 लाख, 50 हजार रुपये व्यय किए जाने का प्रावधान किया गया है। डीपीआरओ एवं एडीओ पंचायत द्वारा दी गई सूचना के अनुसार वित्तीय वर्ष 2018-19 में किसी भी कार्य के वित्तीय एवं प्रशासनिक स्वीकृति जिला एवं ब्लाक स्तर पर प्राप्त नहीं की गई है।
नियमानुसार इस कार्य की लागत 10 लाख, 70 हजार होने के कारण कार्य की वित्तीय एवं प्रशासनिक स्वीकृति डीएम स्तर से निर्गत किया जाना था। ग्राम पंचायत सचिव एवं ग्राम प्रधान ने बिना किसी टेंडर प्रक्रिया का पालन किए षडयंत्र पूर्ण ढंग से सोलर लाइट क्रय कर लिया। इसी प्रकार 350 डस्टबिन की खरीद में लगभग छह लाख रुपये एवं सफाई किट खरीद में भी वित्तीय अनियमितता की गई है।