बता दें कि आजमगढ़-अंबेडकर नगर बार्डर पर चल रहे जहरीली शराब के कारोबार ने कई परिवारों को उजाड़ दिया है। जहरीली शराब पीने से आजमगढ़ में सोमवार को मौत का सिलसिला शुरू हुआ। देखते ही देखते 22 लोगों की जान चली गयी। आधा दर्जन से अधिक लोग अंबेडकर नगर में मारे गए। पहले पुलिस तीन दिन तक घटना का नकारती रही लेकिन जब शासन स्तर पर आबकारी विभाग पर कार्रवाई शुरू हुई तो आजमगढ़ एसपी सुधीर कुमार सिंह को स्वीकार करना पड़ा कि जहरीली शराब पीने से लोगों की मौत हुई है। इसी बीच दीदारगंज थाना क्षेत्र में भी जहरीली शराब से 11 लोगों की मौत हो गयी। गुरुवार को दोनों थानों में न केवल मुकदमा किया गया बल्कि पवई थानेदार व बीट सिपाही सहित चार लोगों को निलंबित कर दिया गया। यहीं नहीं दीदारगंज में भी बीट के सिपाहियों के खिलाफ कार्रवाई की गयी।
शुक्रवार को पुलिस ने मित्तूपुर चैकी पर तैनात सिपाही अविनाश सहित चार लोगों को गिरफ्तार कर लिया। इनसे हुई पूछताछ में पुलिस को शराब के अवैध कारोबार के संबंध में अहम सुराग मिले। शनिवार को एसपी सुधीर कुमार सिंह के नेतृत्व में मित्तूपुर बाजार में छापेमारी की कार्रवाई की गई। एक बंद घर से पुलिस ने पांच ड्रम व एक गैलन में भरी अवैध शराब बरामद की। इसके साथ ही भारी मात्रा में शराब की खाली व भरी शीशी, ढक्कन, रैपर, होलोग्राम, बारकोड आदि भी मौके से बरामद हुआ।
पुलिस अधीक्षक सुधीर कुमार सिंह ने बताया कि जितना माल इस मकान से बरामद हुआ है। उससे कम से कम पचास हजार शीशी अवैध शराब तैयार की जा सकती है। मकान अंबेडकरनगर जिले के जलालपुर थाना क्षेत्र के उसरहा गांव निवासी रामरूप पुत्र झिनकू का बताया गया है। जिसे उसने शराब माफिया मोतीलाल गुप्ता को किराये पर दिया है। वहीं शहर कोतवाली पुलिस ने 12 लीटर अपमिश्रित शराब, महराजगंज पुलिस ने 60 लीटर, सिधारी पुलिस ने 50 लीटर शराब बरामद किया है।