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मुलायम के संसदीय सीट से लड़े अखिलेश तो सामने होगी शिवपाल की चुनौती

locationआजमगढ़Published: Feb 06, 2019 03:57:21 pm

सपा-बसपा के गठबंधन को मान रहे है भाजपा की बी-टीम, कांग्रेस से कर सकते हैं गठबंधन।

Akhilesh Yadav Shivpal Singh Yadav

अखिलेश यादव और शिवपाल यादव

आजमगढ़. लोकसभा चुनाव जैसे जैसे नजदीक आ रहा है राजनीतिक दल अपनी रणनीति पर अमल शुरू कर दिये है। बीजेपी भले ही इस चुनाव में विपक्ष के वार से घिरी दिख रही है लेकिन गठबंधन की मुसीबत भी कम होती नहीं दिख रही है। पूर्व सीएम अखिलेश यादव के सामने मुलायम सिंह यादव की संसदीय सीट बचाने की चुनौती है। चर्चा है कि इसके लिए वे खुद मैदान में उतरेंगे लेकिन शिवपाल यादव की पार्टी ने भी अखिलेश को चुनौती देने का मन बना लिया है। पार्टी ने साफ कर दिया है कि वह अखिलेश के खिलाफ प्रत्याशी उतारेगी।
बता दें कि सपा से अलग होकर प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया का गठन करने शिवपाल यादव एक तरफ जहां संगठन को मजबूत बनाने में जुटे हैं वहीं उन्होंने प्रदेश की 79 सीटों पर प्रत्याशी उतारने की घोषणा भी कर दी है। केवल जिस सीट से मुलायम सिंह मैदान में होंगे उसी सीट पर शिवपाल प्रत्याशी नहीं उतारेंगे। वहीं दूसरी तरफ बीजेपी और गठबंधन को मात देने के लिए शिवपाल की पार्टी समान विचारधारा वाले दलों से गठबंधन का प्रयास भी कर रहे हैं।

मजेदार बात है कि जहां सपा-बसपा के लोग शिवपाल को बीजेपी की बी टीम बता रहे हैं वहीं शिवपाल की पार्टी दावा करती फिर रही है कि सपा-बसपा का गठबंधन बीजेपी को फायदा पहुंचाने के लिए हुआ है। इसके पीछे पार्टी के प्रमुख महासचिव व पूर्व सांसद वीरपाल सिंह यादव कहते हैं कि क्या दस-बीस सीट जीतने वाले दल प्रधानमंत्री का विकल्प दे सकते हैं। इसके लिए कम से कम सौ सीट से अधिक चाहिए। अगर ये बीजेपी को हराना ही चाहते थे तो कांग्रेस और अन्य दलों को गठबंधन से बाहर क्यों किया। इससे साफ है कि यह सिर्फ बीजेपी को फायदा पहुंचाना चाहते हैं।
उन्होंने साफ किया कि उनकी पार्टी बीजेपी को हराने के लिए कटिबद्ध है। पार्टी समान विचारधारा के दलों से गठबंधन का प्रयास कर रही है। कांग्रेस से भी गठबंधन की संभावना से उन्होंने इनकार नहीं किया और साफ किया कि अगर किन्हीं कारणों से गठबंधन नहीं होता है तो उनकी पार्टी सभी 80 सीटों पर प्रत्याशी उतारेगी। अगर मुलायम सिंह यादव चुनाव लड़ते हैं तो उनकी पार्टी एक सीट पर उनका समर्थन करेगी। बाकी 79 सीट पर लड़ेगी। मुलायम सिंह की संसदीय सीट आजमगढ़ से अखिलेश यादव के लड़ने के सवाल पर उन्होंने कहा कि वे पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष है और कहीं से भी चुनाव लड़ सकते हैं लेकिन अखिलेश कहीं से लड़े उनके खिलाफ हमारा प्रत्याशी मैदान में होगा।
उत्तर प्रदेश में प्रियंका फैक्टर पर कहा कि कांग्रेस सुस्त पड़ी थी प्रियंका के आने से पार्टी को बल मिला है। फिलहाल इसका परिणाम चुनाव होने के बाद पता चलेगा। श्री यादव की बातों से साफ है कि उनकी पार्टी पूरी ताकत से मैदान में उतरने को तैयार है। वे अखिलेश यादव को चुनौती दे पाएं या न दे पाएं लेकिन गठबंधन की मुश्किल बढ़ा सकते हैं।
By Ran Vijay Singh

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