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कांग्रेस के दाव से बैकफुट पर आई सपा, अब उठाएगी दलित हत्या का मामला

locationआजमगढ़Published: Aug 22, 2020 12:48:34 pm

Submitted by:

Neeraj Patel

– दलितों में पैठ बनाने की कोशिश में जुटे सपा में साफ दिख रही है बेचैनी- कांग्रेस व भीम आमी के प्रदर्शन के बाद अब सपाइयों ने किया 22 अगस्त को बांसगांव जाने का फैसला- बांस गांव के प्रधान सत्यमेव जयते ही 14 अगस्त को कर दी गयी थी हत्या, सवर्णो पर है हत्या का आरोप

कांग्रेस के दाव से बैकफुट पर आई सपा, अब उठाएगी दलित हत्या का मामला

कांग्रेस के दाव से बैकफुट पर आई सपा, अब उठाएगी दलित हत्या का मामला

आजमगढ़. 2022 के विधानसभा चुनाव के पहले सभी दलों की नजर दलित मतदाताओं पर हैं। तरवां थाना क्षेत्र के बांसगांव में दलित प्रधान सत्यमेव की हत्या के बाद इस समय आजमगढ़ राजनीति का केंद्र बना हुआ है। कांग्रेस से लेकर भीम आर्मी और बसपा तक इसे बड़ा मुदद्दा बनाकर भुनाने की पुरजोर कोशिश कर रही है लेकिन एक पहला मौका है जब सपा अपने ही गढ़ में बैकफुट पर नजर आ रही है। दूसरे दलों के आक्रामक रवैये के बाद सपाई भी जाग गए हैं और 22 अगस्त को मृत प्रधान के घर जाकर परिजनों से मुलाकात का फैसला किया है। इससे एक बार फिर माहौल गरम होता दिख रहा है।

बता दें कि आजमगढ़ जिले को सपा बसपा का गढ़ माना जाता है। वर्तमान में दस विधानसभा सीटों में से पांच सपा और चार बसपा के पास है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव आजमगढ़ से सांसद भी हैं। 14 अगस्त की शाम तरवां थाना क्षेत्र के बांसगांव में दतिल प्रधान सत्यमेव जयते की हत्या और उसके बाद हुए बवाल के बाद माना जा रहा था कि यह मामला राजनीतिक रंग लेगा। सपा मुखिया अखिलेश यादव व बसपा मुखिया मायावती एंव कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट के जरिये घटना की निंदा की तो स्वयं सीएम योगी ने मामले को संज्ञान में लिया। सपा के लोग मृत प्रधान के अंतिम संस्कार में भी शामिल हुए लेकिन फिर इस मामले पर चुप्पी साध ली।

इसी बीच गुरूवार को कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल आजमगढ़ पहुंच गया और बांस गांव जाने का प्रयास किया । यह अलग बात है कि प्रशासन ने उन्हें जाने नहीं दिया लेकिन दिन भर सियासी पारा चरम पर रहा। शाम होते ही भीम आर्मी के चीफ चंद्रशेखर आजाद भी आजमगढ़ पहंुच गए। उन्हें सीमा पर ही रोक लिया गया लेकिन घटना को पूरी तरह राजनीतिक रंग देने में सफल रहे। इस मामले पर सपा की चुप्पी ने अब उसे बैकफुट पर ढकेल दिया है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने खुद मामले को संज्ञान में लिया है और प्रतिनिधिमंडल को बांसगांव भेजने का निर्देश दिया है।

जिलाध्यक्ष हवलदार यादव ने बातया कि राष्ट्रीय अध्यक्ष के निर्देश पर 22 अगस्त को पूर्व सांसद बलिहारी बाबू के नेतृत्व में सपा के वरिष्ठ नेता मिठाईलाल भारती, विधायक कल्पनाथ पासवान, पूर्व मंत्री राजेन्द्र कुमार, पूर्व सांसद दरोगा प्रसाद सरोज, पूर्व विधायक रामजग, पूर्व विधायक बेचई सरोज, पूर्व विधायक बृजलाल सोनकर, हरिनाथ राम, अशोक गौतम व पार्टी के विधायक एवं नेता बांसगांव जाकर मृतक के परिवार से मिलेंगे और रिपोर्ट राष्ट्रीय अध्यक्ष को प्रेषित करेंगे।

इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मोदी योगी की सरकार कोरोना महामारी को अवसर में बदलकर गरीबों, दलितों, पिछड़ों व अल्पसंख्यकों को सामन्ती व्यवस्था की तरह शोषण, उत्पीड़न, अत्याचार, दमन कर रही है। हत्या, सामूहिक बलात्कार, लूट की घटनाएं बढ़ती जा रही है। प्रधान सत्यमेव जयते उर्फ पप्पू की नृशंस हत्या उसके बाद पुलिस की गाड़ी से 15 वर्ष के किशोर सूरज की दबकर मौत व बीबीपुर में सपा नेता आमिर अहमद पर जानलेवा हमले ने साबित कर दिया है कि कानून व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है। समाजवादी जुल्म व अत्याचार के खिलाफ थानों पर प्रदर्शन कर जनता को लामबन्द कर उसका जवाब देगी।

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