आठ माह से बंद है Óतीसरी आंखÓ
भोपालPublished: Dec 24, 2015 01:32:00 am
सीधी। शहर की सुरक्षा को लेकर विभिन्न चौराहों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। जिससे शहर की कैमरे की निगरानी मे आंतरिक निगरानी हो सके। जिसके लिए लाखों रुपए का बजट खपाया गया, किंतु आठ माह में ही कैमरे खराब हो गए, कई चौराहों पर तो कैमरे ही गायब हो गए हैं। ऐसी स्थिति में […]
सीधी। शहर की सुरक्षा को लेकर विभिन्न चौराहों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। जिससे शहर की कैमरे की निगरानी मे आंतरिक निगरानी हो सके। जिसके लिए लाखों रुपए का बजट खपाया गया, किंतु आठ माह में ही कैमरे खराब हो गए, कई चौराहों पर तो कैमरे ही गायब हो गए हैं। ऐसी स्थिति में बंद कैमरे पुलिस के लिए चुनौती बन सकते हैं। लगाए गए घटिया किस्म के कैमरे बहुत जल्द खराब हो गए जिसके कारण आज तक एक भी मामले का खुलासा इन कैमरों के बूते नहीं हो पाया है। वहीं शहर के कई संदिग्ध महत्वपूर्ण चौराहों में अभी भी सीसीटीवी कैमरे नहीं लगाए गए हैं। कैमरे न होने की वजह से संदिग्ध क्षेत्रों की सुरक्षा पुलिस के लिए चुनौती बने हुए हैं। कैमरे के दम पर शहर की सुरक्षा के दावे कोरे साबित हो रहे हैं।
यहां लगाए गए थे कैमरे
शहर के पांच चौराहों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे, जिसमें गांधी चौराहा, पुराना बस स्टैंड, अस्पताल चौराहा, कलेक्ट्रेट चौक एवं सम्राट चौराहे मे कैमरा लगाया गया था। प्रत्येक चौराहे में तीन-तीन कैमरे लगाए गए थे। करीब पांच माह मे ही कैमरे खराब हो गए थे। जिन्हे सुधार कराने की पहल पुलिस व जिला प्रशासनिक अमले द्वारा नहीं की गई, जिसके कारण कैमरों के दम पर शहर की सुरक्षा पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
यहां है दरकार
शहर के कई महत्वपूर्ण संवेदनशील चौराहों व स्थानों पर सुरक्षा की दृष्टि से सीसीटीवी कैमरे की दरकार बनी हुई है, जिसमें पटेल पुल, नया बस स्टैंड, जमोड़ी तिराहा, संजीवनी पालिका बाजार परिसर, लालता चौक कालेज चौराहा सहित अन्य संवेदनशील स्थानों कर कैमरे की निगरानी आवश्यक है। अभी तक इन स्थानों पर कैमरे की निगरानी नहीं हो पाई।
कलेक्ट्रेट चौक के गायब हो गए कैमरे
शहर के प्रमुख कलेक्ट्रेट चौक अंबेडकर मूर्ति के बगल मे सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। तिराहा होने के कारण तीनों दिशा मे तीन कैमरे लगे थे, जो विगत एक माह पूर्व से खराब पड़ा हुआ था। विगत तीन दिवस पूर्व से कैमरा ही गायब हो गया जिसकी जानकारी किसी को नहीं है कि कैमरा कहां गायब हो गया।
ट्रैफिक थाना को बनाया गया है कंट्रोल रूम
शहर में लगे सीसीटीवी कैमरे का कंट्रोल रूम ट्रैफिक थाना को बनाया गया है। जहां मानीटरिंग उपकरण लगाया गया है। जिसकी मानीटरिंग की जिम्मेवारी टै्रफिक प्रभारी को सौंपी गई है किंतु ज्यादा समय मानीटरिंग उपकरण बंद रहते हंै।