पथराव में पुलिस का एक वाहन क्षतिग्रस्त हुआ तो एसपी सिटी को भी पत्थर लगा। यह अगल बात है कि चोट लगने की पुष्टि अभी प्रशासन ने नहीं है। पथराव के जवाब में पुलिस द्वारा लाठीचार्ज किया गया। कई दिनों से जौहर अली पार्क में धरने पर बैठी महिलाओं को पुलिस ने पार्क से भगा दिया। पार्क को खाली करा दिया गया। पुलिस का कहना है कि प्रदर्शन को लेकर किसी भी तरह की अनुमति नहीं ली गई थी।
इस लाठीचार्ज में कई लोगों को चोटे आई। उपद्रव को रोकने के लिए पुलिस को आंसू गैस का भी इस्तेमाल करना पड़ा। पुलिस ने एक महिला जो लोगों को उकसा रही थी उसे हिरासत में लिया है तो धर्मगुरू सहित 18 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्जकर उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस और जिला प्रशासन का दावा है कि लाठीचार्ज महिलाओं पर नहीं हुआ है। उपद्रवियों के द्वारा चलाए गए पत्थर से महिलाओं को चोट लगी है।
वहीं उलेमा कौंसिल व समाजवादी पार्टी पुलिस कार्रवाई के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उलेमा कौंसिल के युवा प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष नूलुल होदा व सपा विधायक नफीस अहमद ने प्रशासन पर शांतिपूर्ण आंदोलन के दौरान पार्क के पानी भरने तथा महिलाओं को पीटने का आरोप लगाया है।
बता दें कि जिले में सीएए, एनआरसी और एनपीआर का विरोध लगातार चल रहा है। इसे लेकर सर्वदलीय धरना भी हो चुका है। विपक्ष लगातार इस मुद्दे को हवा देकर केंद्र सरकार को घेरने का प्रयास कर रहा है। अन्य जिलों में प्रदर्शनकारियों के खिलाफ शुरू हुई कार्रवाई के बाद जिले में विरोध प्रदर्शन कई दिनों से रूका था। इसी बीच मंगलवार को मौलाना जौहर अली पार्क में तीसरी बार सैकड़ों महिलाएं और बच्चे पहुंचकर विरोध प्रदर्शन करने लगी।
आधी रात तक डीएम और एसपी महिलाओं को मनाकर आंदोलन समाप्त कराने का प्रयास किए लेकिन बात नहीं बनी। महिलाएं शाहीन बाग के साथ ही आंदोलन समाप्त करने की जिद पर अड़ गयी। आंदोलन को रोकने के लिए आधी रात के बाद पार्क में पानी भरवा दिया। उस समय तो भीड़ तितरबितर हो गयी। फिर क्या था पुलिस ने पार्क को कब्जे में ले लिया।
इसी बीच करीब भोर में चार बजे सैकड़ों पुरूष महिलाएं सड़क पर पहुंच कर जाम लगाने का प्रयास किया लेकिन पुलिस ने उन्हें समझाबुझाकर पार्क में वापस भेज दिया। इसके बाद प्रदर्शन फिर जोर पकड़ने लगा। भीड़ ने उग्र तेवर दिखाते हुए पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया। इसके बाद मजबूरन पुलिस को भी लाठी चार्ज करना पड़ा। स्थिति बेकाबू होते देख पुलिस ने आंसू गैस का भी प्रयोग किया। इसके बाद भीड़ तितर बितर हो गयी लेकिन पथराव में अपर पुलिस अधीक्षक पंकज पांडेय के कंधे पर चोट लगी वहीं पुलिस की गाड़ी का शीशा भी टूट गया।
इस दौरान कई प्रदर्शनकारी भी घायल हो गए है। अब जौहर पार्क को पूरी तरह खाली करा दिया गया है। पुलिस ने एक महिला को हिरासत में लिया है तो 18 प्रदर्शनकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार होने वालों में उलेमा कौंसिल के राष्ट्रीय महासचिव ताहिर मदनी तथा एक धर्मगुरू भी शामिल है। जिलाधिकारी नरेंद्र प्रसाद सिंह का कहना है कि घटना को सुनियोजित ढंग से अंजाम दिया गया है। अब तक 18 लोगों की गिरफ्तारी हुई है। जो भी दोषी है उन्हें बक्शा नहीं जाएगा।