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जामली आवासीय स्कूल भवन में बनाए गए कोरोना केयर सेंटर के बाहर लापरवाही का आलम

locationबड़वानीPublished: May 06, 2021 10:54:52 am

Submitted by:

vishal yadav

कोरोना केयर सेंटर के बाहर मैदान में बिखेरे पड़े है हाथों के ग्लब्स और मास्क, स्वस्थ लोगों के संक्रमित होने का रहेगा खतरा

 Corona Care Center built in residential school building Jamli

Corona Care Center built in residential school building Jamli

बड़वानी/सेंधवा. नगर से करीब 7 किमी दूर जामली स्थित आवासीय स्कूल भवन को कोरोना केयर सेंटर बनाया गया है। प्रशासन हर तरह की व्यवस्था चाक चौबंद होने का दावा कर रहा है, लेकिन जिम्मेदारों की लापरवाही व्यवस्थाओं की पोल खोल रही है। ऐसा ही एक मामला उपयोग किए गए मास्क, हेड केवर, हाथों के दस्ताने कोरोना केयर सेंटर के बेहद नजदीक लावारिस हालत में फेंके गए है। हालांकि संक्रमित क्षेत्र में उपयोग किए गए ये सामान को किसने फेंका ये जांच का विषय है, लेकिन इस तरह की लापरवाही कोरोना केयर सेंटर में सेवा दे रहे चिकित्सकों, स्टाफ, स्वास्थ कर्मचारियों सहित अधिकारियों के लिए घातक हो सकती है।
संक्रमित या संदिग्ध कचरे को कैसे करें संधारण
जिम्मेदारों को केयर सेंटर के अंदर और बाहर दोनों जगहों पर संक्रमित कचरे के उचित संधारण की व्यवस्था करनी चाहिए, जिससे स्वस्थ लोगों को कोरोना संक्रमण से बचाया जा सके। जामली में मिले संक्रमित कचरे में दवाइयों के खोल और इंजेक्शन सहित अन्य कचरा भी लावारिस हालत में पड़ा हुआ है जो गंभीर चूक को दर्शाता है। केंद्र सरकार सहित अन्य सरकारों ने विशेषज्ञों के निर्दश पर दिशानिर्देश जारी कर आइसोलेशन वाड्र्स, कलेक्शन सेंटर्स, टेस्टिंग लैब में कोविड वेस्ट मैनेजमेंट के गाइड लिए जारी की है। हालांकि अस्पतालों सहित संक्रमित क्षेत्र में मेडिकल वेस्ट के निपटान के लिए स्टेंडर्ड मानकों पर निया बने है, जिनका पालन कराना जिम्मेदारों की प्राथमिकता होनी चाहिए।
आइसोलेशन वॉड्र्स, टेस्टिंग लैब
कोरोना वायरस वेस्ट के लिए अलग-अलग रंग के और दोहरी लेयर वाले बैग या डिब्बे रखने के नियम है। जिन बेग में संक्रमित या संदिग्ध मेडिकल कचरा ले जाया जा रहा है, उन्हें किसी दूसरे कचरे के लिए इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए। नियमों के मुताबिक जो कर्मचारी कोरोना या संक्रमित कचरे को छू रहा है, उसकी ड्यूटी दूसरे तरह के कचरे को हैंडल करने के लिए नहीं लगाया जाना चाहिए। क्वॉरेंटाइन सेंटर्स में बॉयोमेडिकल वेस्ट पीले बैग में एकत्र करना चाहिए। उसके बाद बॉयोमेडिकल वेस्ट ट्रीटमेंट फैसेलिटी सहित सोलिड वेस्ट मैनेजमेंट रूल्स 2016 की गाइड लाइन का पालन करना होगा। जिससे संक्रमण का खतरा नहीं हो सके। बड़ा सवाल है कि जामली कोरोना केयर सेंटर में इस गाइड लाइन पालन क्यों नहीं किया गया।
खुले मैदान में पड़े खाली इंजेक्शन और मेडिकल वेस्ट
पत्रिका ने जब बुधवार को जामली में बनाए गए कोरना केयर सेंटर का निरीक्षण किया तो कई लापरवाही सामने आई। सबसे गंभीर लापरवाही ये थी कि मरीजों को लगाने वाले इंजेक्शन और कई दवाइयों के रैपर सलाइन बोतलों की डिटेल सहित अन्य सामग्री मैदान में बिखरी पड़ी हुई थी। कोविड सेंटर के मुख्य गेट से मात्र 20 फीट की दूरी पर मेडिकल वेस्ट सहित अन्य कचरे में आग लगा दी गई थी। वहीं पूर्व दिशा की ओर एक गड्ढे में कई तरह के मेडिकल वेस्ट सहित खाने की सामग्री बोतलें आदि को आग लगा दी गई थी। जिस का धुआं उठता दिखाई दिया। बड़ा सवाल है कि क्या मेडिकल वेस्ट सहित अन्य कचरा केयर सेंटर के समीप जलाने की अनुमति है या किस नियम के तहत ये जलाया गया।
वर्जन…
जामली स्थित कोरना केयर सेंटर में आने वाले अटेंडरों द्वारा उपयोग की जाने वाली मेडिकल सामग्री फेंक दी जा रही है। कई बार समझाते है, लेकिन कोई फायदा नहीं मिल रहा है। सभी को मेडिकल वेस्ट डस्टबिन में डालने की हिदायत दी है। कोरोना मरीजों द्वारा किसी तरह का मेडिकल वेस्ट नहीं फेंका जा रहा है।
-ओएस कनेल, बीएमओ, सेंधवा

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