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350 किलोमीटर सड़कें बेदम, साइकिल के लायक भी नहीं

locationबगरूPublished: Oct 28, 2021 09:38:19 pm

Submitted by:

Narottam Sharma

– जख्मी राहों को इलाज की दरकार- सार्वजनिक निर्माण विभाग नहीं दे रहा ध्यान

रेनवाल मांजी पुलिस थाना से धांधो की ढाणी की ओर जाने वाली क्षतिग्रस्त सड़क।

रेनवाल मांजी पुलिस थाना से धांधो की ढाणी की ओर जाने वाली क्षतिग्रस्त सड़क।

जयपुर. जयपुर जिले के तीन खंड व एक ब्लॉक में 350 किलोमीटर सड़कें ऐसी स्थिति में पहुंच गई हैं जहां कार, मोटरसाइकिल तो दूर साइकिल चलाना भी खतरे से खाली नहीं है। अब इन सड़कों के सीधे दिन कब आएंगे ये कहना मुश्किल है। सड़क जैसी मूलभूत सुविधा मुहैया कराने वाले सार्वजनिक निर्माण विभाग की अनदेखी के चलते फुलेरा, दूदू, शाहपुरा खंड व कोटपूतली ब्लॉक में दस फीसदी से अधिक सड़कों से डामर गायब हो चुकी है। सड़क के नाम पर यहां रोड़ी और मिट्टी ही बची है। इन चारों खंड व ब्लॉक में 3887 किलोमीटर सड़कों में से दस फीसदी सड़कें कंडम हो गई हैं।
जिले में सड़कों की बदहाल का आलम
– दूदू खंड का हाल
ब्लॉक में सार्वजनिक निर्माण विभाग की ओर से 1339.61 किलोमीटर में सड़कें बनी हुई हैं। इनमें से 119.55 किलोमीटर सड़कें पूरी तरह से कंडम हो गई हैं। वहीं 170.38 किलोमीटर सड़कों के लिए वित्तिय स्वीकृति जारी हो चुकी है। इसके साथ ही ब्लॉक में 20.4 किलोमीटर सड़कों को सुधारने के लिए प्रस्ताव आए हैं। जिन पर 1020 लाख का खर्चा आएगा। इस इलाके में 20 माह में 606 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत की गई है। तीनों ब्लॉक में से दूदू ब्लॉक में सार्वजनिक निर्माण विभाग ने सर्वाधिक 1340 किलोमीटर सड़कें बनाई हैं।
– शाहपुरा खंड का हाल
ब्लॉक में सार्वजनिक निर्माण विभाग की 658.47 किलोमीटर सड़कें हैं। जिनमें से 45.57 किलोमीटर सड़कें तो इतनी खराब हो गई हैं कि यहां मरम्मत संभव नहीं है। विभाग ने यह माना है कि यहां किसी प्रकार का पेचवर्क तक नहीं किया जा सकता। यहां आरआईडीएफ के तहत मात्र 8 किलोमीटर सड़कों का कार्य चल रहा है। वहीं आरआईडीएफ व प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत 30 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत के प्रस्ताव मिले हैं।
फुलेरा खंड का हाल
खंड के फुलेरा, चौमूं, जोबनेर, किशनगढ़ रेनवाल में भी सड़कों की स्थिति ज्यादा ठीक नहीं है। यहां कुल 1387 किलोमीटर सड़कें सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधीन बनी हुई हैं। इनमें से 100.21 फीसदी खराब हो गई है। इसके साथ ही 193 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत के लिए स्वीकृति जारी हो चुकी है। जबकि कोरोना काल में पिछले 20 माह में 450 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत की गई है।
– कोटपूतली उपखंड का हाल
ब्लॉक में सार्वजनिक निर्माण विभाग ने 546 किलोमीटर सड़कें बनाई हैं। इनमें से 54 सड़कें पूरी तरह से कंडम हो गई हैं। जिन पर पैदल चलना भी किसी मुसीबत से कम नहीं। यहां 10 सड़कों की मरम्मत के लिए वित्तिय स्वीकृति जारी हो चुकी है। जबकि मात्र 4 सड़कों को सुधारने के प्रस्ताव आए हैं। वहीं कोरोना की शुरुआत से पिछले 20 माह में 50 किलोमीटर की 36 सड़कों की मरम्मत की गई है।
स्रोत – सार्वजनिक निर्माण विभाग।
लोगों की जुबानी…
नीमकाथाना व बहरोड़ खैरथल मार्ग सहित ग्रामीण क्षेत्र की अनेक सड़कें पूरी तरह कंडम हो गई हैं और वाहनों के चलने लायक नहीं रहीं। सड़कें क्षतिग्रस्त होने से आवागमन में परेशानी हो रही है। वाहनों का डीजल औसत गड़बड़ा रहा है। बसों सहित दूसरे वाहनों के रख रखाव का खर्चा भी बढ़ रहा है।
– शंकरलाल कसाना, बस ट्रांसपोर्टर्स कोटपूतली
3 साल से मानपुरा से रूंडल जाने वाली सड़क टूट कर जर्जर हो गड्ढों में तब्दील हो गई है। इसके कारण वाहनों में मेंटिनेंस का खर्चा बढ़ गया है। कभी-कभी तो वाहन खराब होकर मौके पर ही रुक जाते हैं।
– लालाराम यादव, सोहन घोसल्या, चालक, मानपुरा माचैड़ी
जिम्मेदार बोले…
ग्रामीण इलाकों में सड़कों की स्थिति ठीक है। कहीं भी ऐसा हाल नहीं है कि सड़कें ज्यादा क्षतिग्रस्त हो। पेचवर्क और मरम्मत का काम सालभर चलता रहता है। सड़कें बदहाल होने पर मरम्मत कराई जाती है। बारिश के बाद पेचवर्क करवाया जा रहा है। जिले में 350 किलोमीटर की सड़कें क्षतिग्रस्त नहीं हैं।
– अजय भूपेश, अधीक्षण अभियंता, जयपुर ग्रामीण सार्वजनिक निर्माण विभाग

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