मंगलवार शाम तकरीबन पांच बजे के आस पास खेत में काम कर रही विशुनापुर निवासी निम्मू (12 वर्ष) पुत्री दीवान पर जंगल से निकले बाघ ने हमला कर दिया। बाघ से घिरा देख बालिका को बचाने के लिए पड़ोस खेत में काम कर रही एक अन्य महिला सोहनी (55 वर्ष) पत्नी परदेसी बाघ से भिड़ गई। जिसके बाद बाघ उस महिला पर भी हमलावर हो गया। एक दूसरे को बचाने के चक्कर में बालिका व महिला की जान चली गयी। बाघ के हमले के बाद ग्रामीणों ने इसकी सूचना तत्काल वन विभाग को दी। सूचना मिलते ही मौके पर एसएसबी के जवान व डीएफओ कतर्निया जीपी सिंह व वनक्षेत्राधिकारी कतर्निया पीयूष मोहन श्रीवास्तव भी पर पहुंच गये। मौके पर पहुंचे पूर्व जिला पंचायत सदस्य आशिक अली ने मृतक के परिवार वालो के लिए मुआवजा की मांग करते हुये कहा कि कतर्निया रेंज के अधिकतम ग्रामीणों का खेत जंगल से सटा है। आए दिन कोई न कोई हिंसक जानवर हम लोगो को नुकसान पहुंचाते रहते है। ऐसे में वन विभाग को चाहिए कि वह अपने जंगल की बेरीकेडिंग कराएं जिससे हम लोगों के जान माल की रक्षा हो सके। डीएफओ कतर्निया ने बताया कि जिस जगह हमला हुआ है उस जंगल में तेंदुआ व बाघ दोनों की मौजूदगी है। अंधेरा होने के कारण पगचिह्न की पहचान नहीं हो सकी है। बुधवार सुबह ही पगचिह्न से हमलावर जानवर की पहचान हो सकेगी।