scriptFormer MP Bodh Singh Bhagat joins Congress with supporters | पूर्व सांसद बोधसिंह भगत ने समर्थकों के साथ थामा कांग्रेस का दामन | Patrika News

पूर्व सांसद बोधसिंह भगत ने समर्थकों के साथ थामा कांग्रेस का दामन

locationबालाघाटPublished: Sep 20, 2023 10:43:10 pm

Submitted by:

Bhaneshwar sakure

प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष ने भोपाल में दिलाई सदस्यता

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बालाघाट. पूर्व सांसद, पूर्व विधायक और पूर्व भाजपा नेता बोधसिंह भगत ने कांग्रेस का दामन थाम लिया है। पूर्व सांसद भगत अपने सैकड़ों समर्थकों के साथ भोपाल पहुंचे थे। जहां प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष कमलनाथ ने उन्हें पार्टी की सदस्यता दिलाई। इस अवसर पर प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ, जिला प्रभारी आलोक मिश्रा, जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष और विधायक संजयसिंह उईके, विधायक हीना कावरे, पूर्व विधायक मधु भगत, कांग्रेस नेता अनुभा मुंजारे, कार्यकारी जिला अध्यक्ष राजा सोनी, सेवादल जिला अध्यक्ष सौरभ लोधी सहित जिले के अन्य कांग्रेसी नेता मौजूद थे।
विधानसभा चुनाव के नजदीक आते ही नेताओं के दल बदलने का दौर प्रारंभ हो चुका है। बुधवार को पूर्व सांसद बोधसिंह भगत ने कांग्रेस का दामन थाम लिया। इसके पहले सपा नेत्री और नगर पालिका परिषद बालाघाट की पूर्व अध्यक्ष अनुभा मुंजारे ने भी कांग्रेस की सदस्यता ली थी। इस तरह से जिले में नेताओं के दल बदलने का क्रम लगातार जारी है। बुधवार को कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण करने के बाद पूर्व सांसद बोधसिंह भगत ने कहा कि भाजपा में उनकी लड़ाई नकली खाद, नकली बीज, नकली दवा को लेकर थी। जिसकी मुद्दा मैने उठाया था। पार्टी नेतृत्व ने उनकी आवाज को दबा दिया। उनके पर को काट दिए। उन्होंने कहा कि वे कांग्रेसी नेता राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा से काफी प्रभावित हुए। जिसके चलते उन्होंने भाजपा को छोड़ कांग्रेस का दामन थामने का निर्णय किया था। इस दौरान उन्होंने पीसीसी अध्यक्ष कमलनाथ के कार्यों की सराहना भी की।
पार्टी से थे निष्कासित
पूर्व सांसद बोधसिंह भगत को वर्ष २०१९ में पार्टी से बगावत करने के मामले में भाजपा की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया गया था। वर्ष २०१९ में लोकसभा चुनाव के दौरान भाजपा ने बालाघाट-सिवनी संसदीय सीट से डॉ. ढाल सिंह बिसेन को प्रत्याशी बनाया था। जबकि पूर्व सांसद बोधसिंह भगत ने भी प्रत्याशी के लिए अपनी दावेदारी की थी। लेकिन भगत को प्रत्याशी नहीं बनाया गया। जिसके चलते उन्होंने पार्टी से बगावत कर ली। निर्दलीय प्रत्याशी के रुप में चुनाव लड़ा। हालांकि, उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
वर्ष २०१४ में सांसद, वर्ष २००३ में बने विधायक
वर्ष २०१४ के लोकसभा चुनाव में भाजपा ने बोधसिंह भगत को प्रत्याशी बनाया था। इस चुनाव में उन्हें जीत मिली थी। वर्ष २०१४ में पहली बार भाजपा प्रत्याशी के रुप में सांसद निर्वाचित हुए थे। इस चुनाव में उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी हीना कावरे को चुनावी शिकस्त दी थी। इसके पूर्व वर्ष २००३-२००८ में खैरलांजी विधानसभा क्षेत्र (अब वारासिवनी में मर्ज) से विधायक निर्वाचित हुए थे। इसी तरह वर्ष १९९९ से २००२ तक जिला पंचायत सदस्य रहे। इसके अलावा वे ग्राम पंचायत घुबडग़ोंदी के सरपंच भी रहे।
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