प्रथम पूज्य भगवान श्री गणेश की घर-घर हुई स्थापना
बालाघाटPublished: Sep 10, 2021 09:42:43 pm
दस दिवसीय गणेशोत्सव प्रारंभ, दिनभर बाजारों में रही रौनक
प्रथम पूज्य भगवान श्री गणेश की घर-घर हुई स्थापना
बालाघाट. प्रथम पूज्य भगवान श्री गणेश का दस दिवसीय पर्व शुक्रवार से प्रारंभ हो गया। शुक्रवार को शुभ मुहुर्त में शाम के वक्त सार्वजनिक और व्यक्तिगत रुप से विधि-विधान से पूजा-अर्चना कर भगवान श्री गणेश की प्रतिमा की स्थापना की गई। प्रतिमा स्थापना का सिलसिला मुहुर्त अनुसार रात्रि करीब दस बजे तक चलते रहा। इधर, शुक्रवार को सुबह से लेकर शाम तक बाजार में काफी चहल-पहल देखी गई। वहीं मूर्तिकारों के घरों से भगवान गणेश की प्रतिमा ले जाने का दौर भी जारी रहा। गणेश स्थापना के पूर्व मूर्तिकारों की दुकानों में ग्राहकों की भीड़ देखी गई। बाजार में भी प्रतिमा विक्रय के लिए रखी गई थे। जिसके चलते प्रमुख चौक-चौराहे भी गुलजार नजर आए।
ज्योतिषियों के अनुसार श्री गणेश चतुर्थी या विनायक चतुर्थी भाद्रपद माह के शुक्लपक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाई जाती है। जिसके चलते शुक्रवार को भगवान श्रीगणेश की स्थापना कर पूजा-अर्चना की गई। ज्योतिषाचार्य प्रोफेसर डॉ अरविन्द चंद्र तिवारी के अनुसार चित्रा नक्षत्र ब्रह्मयोग, अनफायोग का एक अद्भुत समागम गणेश चतुर्थी के दिन बन रहा है। जिसका विद्या, बुद्धि, व्यापार पर एक अच्छा असर पड़ेगा। श्री गणेश चतुर्थी तिथि से लेकर अनंत चतुर्दशी तिथि तक ये गणेश उत्सव कहलाता है। इन दस दिनों में भगवान गणेश विघ्नों का हरण कर मंगल कार्यो को करते है।
सार्वजनिक स्थानों पर भी हुई स्थापना
इस वर्ष सार्वजनिक गणेश उत्सव समितियों द्वारा भी भगवान श्री गणेश की स्थापना की जा रही है। हालांकि, इस दौरान उन्हें शासन की गाइड लाइन का पालन करने के निर्देश भी दिए गए हैं। सार्वजनिक समितियों द्वारा पंडाल व स्टेज तैयार कर उसे रंग-बिरंगी लाइटिंग से सजाया गया है। कोरोना काल में पहली बार सार्वजनिक स्थानों पर धार्मिक चहल-पहल देखी जा रही है। जिसमें नगर में प्रमुख रूप से राजघाट चौक, सराफा बाजार, विध्नवासिनी समिति, त्रिपुर सुंदरी गणेश समिति भटेरा चौकी, चटपटी गणेश, झांसी रानी चौक, मोतीनगर चौक, बूढ़ी, सरेखा, बैहर के अलावा सरेखा कोसमी, नवेगांव, भटेरा, कुम्हारी रोड सहित अन्य स्थानों में गणेश प्रतिमाएं स्थापित की गई है।