मामला यूपी के बलिया जिले के मनियर थानाक्षेत्र के एक गांव का है। यहां के रहने वाली एक दलत महिला का आरोप है उसकी बीते 10 सितम्बर को उसकी नाबालिग बेटी शौच के लिये निकली थी। रास्ते में गांव के ही 16 साल के एक किशोर ने रास्ते में खेतों में ले जाकर उसकी बेटी के साथ रेप किया।
घटना के बारे में बेटी ने जब परिजनों को बताया तो वो पीड़ित आरोपी किशोर के घर शिकायत करने पहुंचे। आरोप है कि वहां किशोर के पिता और भाई ने जातिसूचक शब्दों का प्रयोग किया और उन्हें वहां से भगा दिया। इसके बाद पीड़ित के परिजन मनियर थाने गए और घटना की शिकायत की। परिजनों का दावा है कि पुलिस ने उनसे सादे कागज पर अंगूठा लगवाया और कार्रवाई का भरोसा देकर लौटा दिया। जब कोई कार्रवाई नहीं हुई तो बीते 30 सितम्बर को पीड़िता के परिजनों ने पुलिस अधीक्षक बलिया को पत्र लिखकर मामले में न्याय की गुहार लगायी और आरोपी पर कार्रवाई की मांग की।
इसके बाद एसपी ने मामले में कार्रवाई का निर्देश दिया तब जाकर 25 दिन बाद पांच अक्टूबर को जाकर मुकदमा दर्ज हुआ। इस मामले में सेामवार को जब मीडिया ने मनियर इंस्पेक्टर सुभाष यादव सवाल किया तो उन्होंने बेतुका जवाब दिया। उन्होंने कहा कि वो बच्चे हैं उनसे छोटी-मोटी गलतियां होती हैं, इन्हें इस स्तर पर अपराधके रूप में न देखा जाय और न उन्होंने कोई अपराध किया है। उनके इस बयान के बाद पुलिस अधीक्षक बलिया देवेन्द्र नाथ ने मनियर इंस्पेक्टर सुभाष चन्द्र यादव को लाइन हाजिर कर दिया।
By Amit Kumar