तोषण लाल को 13 मत एवं चन्द्रिका गंजीर को 8 मत मिले। 21 सदस्यों वाली जनपद में कांग्रेस के 11 एवं भाजपा के 8 सदस्य हैं। 2 अन्य सदस्य भी जीते। अन्य दोनों सदस्यों ने कांगे्रस का साथ दिया।
बीस साल तक था भाजपा का कब्जा
जनपद पंचायत में लगातार बीस सालों से भाजपा का कब्जा था। कांग्रेस की चिन्तेश्वरी साहू कांग्रेस की अंतिम अध्यक्ष थीं। पहली बार भाजपा ने जनपद पंचायत मे कब्जा जमाते हुए प्रीतम साहू अध्यक्ष बने थे। उनके कार्यकाल में भाजपा का ग्राफ तेजी से बढ़ा। जिससे लगातार चार बार भाजपा अपनी सत्ता कायम करने में सफल रही। पांच सालों से पूर्व विधायक भैय्याराम सिन्हा एवं विधायक संगीता सिन्हा ने कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ाया और कांग्रेस का ग्राफ बढ़ा। बीस साल के बाद जनपद पंचायत में अपना वर्चस्व पुन: स्थापित किया।
संगीता सिन्हा ने संभाली कमान
कांगे्रस के सभी 11 एवं 2 अन्य के समर्थन के बाद 13 सदस्यों के साथ संगीता सिन्हा के साथ प्रभारी कुरूद के पूर्व विधायक लेखराम साहू जनपद पहुंचे। भाजपा सदस्य पूर्व विधायक प्रीतम साहू, मंडल अध्यक्ष कौशल साहू, यादराम साहू, त्रिलोकी साहू, घनाराम जेठमल, गुलाब सिन्हा, रामसाय साहू, मेहत्तर नेताम के साथ जनपद कार्यालय पहुंचे थे। दोनों पार्टी प्रमुख तोडफ़ोड़ की संभावना को देखते हुए सजग रहे।
चुनाव के दौरान लगा दिया गया था ताला
जनपद पंचायत के अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष के चुनाव के दौरान माहौल शांतिपूर्ण रहा। चुनाव प्रक्रिया के दौरान प्रशासन ने जनपद कार्यालय से सभी प्रतिनिधियों को बाहर कर भवन में ताला लगाकर आवाजाही रोक दी थी। लगभग चार घंटे तक जनपद कार्यालय में आनाजान को रोका गया।
कांग्रेस में जश्न का माहौल
जनपद पंचायत में वापसी से कांग्रेस में जश्न का माहौल था। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भूपत सिंह साहू, केसरी चन्द्राकर, मार्केटिंग अध्यक्ष जितेन्द्र यादव, किशोर साहू, जीवराखन साहू, नव निर्वाचित अध्यक्ष प्रभात ध्रुवे, उपाध्यक्ष तोषन लाल साहू के साथ सदस्यों ने विजय जुलूस निकाला।