जिला कलेक्टोरेट के सभाकक्ष में प्रभारी मंत्री ने कन्या कॉलेज भवन को तत्काल बनाने के निर्देश दिए हैं। कन्या कॉलेज के मामले में पत्रिका ने लगातार समाचार प्रकाशित किया। पत्रिका के खबर का बड़ा असर भी हुआ है। लीड कॉलेज के प्राचार्य जेके खलको ने बताया कि कन्या कॉलेज के लिए जगह का चयन कर लिया हैं। कलेक्टर ने भी जगह फाइनल कर लिया है। प्राचार्य के मुताबिक जिला मुख्यालय के कुंदरूपारा के खाली जमीन पर 5 एकड़ में कन्या कॉलेज बनाया जाएगा। जल्द ही पीडब्ल्यूडी सर्वे कर टेंडर प्रक्रिया के बाद भवन निर्माण कार्य शुरू करेगा। उम्मीद है कि इसी साल भवन निर्माण शुरू हो जाएगा।
प्रभारी मंत्री उमेश पटेल ने जिला स्वास्थ्य विभाग से जानकारी ली। उन्होंने सीएमएचओ से सवाल पूछा कि कोरोना से निबटने के लिए क्या तैयारी है। कितने बेड हंै, कितने कोविड सेंटर हैं। स्टाफ व दवाई पर्याप्त हैं कि नहीं। ऑक्सीजन प्लांट कितने है। ऑक्सीजन सिलेंडर कितने हैं। आगामी तीसरी लहर की क्या तैयारी है। स्वास्थ्य अधिकारी ने जिले में कोरोना की स्थिति व उनसे निबटने की तैयारी के बारे में जानकारी दी। जिस पर प्रभारी मंत्री ने कहा कि तैयारी पूरी होनी चाहिए।
बैठक में जब पशु चिकित्सा की बारी आई तो पशु चिकित्सा विभाग के उपसंचलाक आरएस मौर्य सवालों के जवाब नही दे सकें, जिसके बाद उनके सहयोगी डॉ. टीडी देवांगन ने जानकारी दी। दरअसल मंत्री में पशुचिकित्सा अधिकारी को रोका-छेका अभियान के तहत किए जा रहे कार्य की जानकारी मांगी थी।
मिशन जल जीवन के तहत जिले के 90 गांवों में सोलर पम्प लगाने के निर्देश दिए हैं। अभी तक मात्र 24 जगहों पर लगा है। इस पर प्रभारी मंत्री ने क्रेडा अधिकारी से लेटलतीफी का कारण पूछा। वहीं पीएचई विभाग से जानकारी मांगी कि किस आधार पर गांवों का चयन किया गया। इसी प्रकार कृषि विभाग से खाद का भंडारण, किसानों को समय पर खाद उपलब्ध कराने व किसान न्याय योजना के बारे में जानकारी मांगी।
प्रभारी मंत्री उमेश पटेल ने बारीकी व कड़ाई से हर विभाग की क्लास ली। खासकर लोक सेवा गारंटी के राजस्व प्रकरण के मामले में जिम्मेदार अधिकारियों से जानकारी ली, लेकिन किसी ने भी लंबित प्रकरणों की जानकारी नहीं दे पाए। प्रभारी मंत्री ने कहा कि आगामी बैठक में पूरी जानकारी व प्रकरण लंबित होने के कारण बताएं। जो अधिकारी जवाब नहीं दे पाएंगे, उन्हें तत्काल सस्पेंड करने की बात कही है।