उपेक्षा और गलत निर्णय से प्रदेश का तीसरे सबसे बड़े बांध तांदुला को देखने व सुकून के पल बिताने आने वाले पर्यटकों की संख्या दिनों-दिनों कम होती जा रही है। खासकर महिलाएं कतराने लगी हैं। वजह मदिरा प्रेमियों का जमावड़ा है। शराब दुकान की वजह से क्षेत्र में जगह-जगह कचरा भी फैला रहता है।
कभी यहां सुबह-शाम कुछ पल बिताने अपने परिवार के साथ लोग, आते थे। महिलाएं टहलने जाया करती थीं। जब से शराब दुकान खोली गई है, तब से पर्यटकों की संख्या घटने लगी है। शराबी शराब लेकर जलाशय के पार में बैठकर शराब पीते हैं। सार्वजनिक जगहों में शराब नहीं पीने की बात कहने वाला शासन प्रशासन कार्रवाई तक नहीं करता।
शराब दुकान खोलने के वक्त भाजपा सरकार थी। तब कांग्रेस कांग्रेस कार्यकताओं ने इसका खुलकर विरोध किया था, लेकिन कुछ नहीं हुआ। जबकि भाजपा नेता चुप्पी साधे रहे। प्रदेश में कांग्रेस की सरकार आने के बाद विरोध करने वाले कांग्रेस के कार्यकर्ता भी गायब हो गए हैं और पूरे मामले चुप्पी साध ली है। न तो आंदोलन और न विरोध हो रहा है।
शाम को टहलने आए रविन्द्र कुमार ने बताया कि पहले तो शाम के समय अपने परिवार के साथ आते थे। करीब महीनेभर पहले आईटीआई के सामने शराबियों में मारपीट और गाली-गलौज करते देखा तो अकेले टहलने आने लगा। प्रदेश की धरोहर इस जलाशय से राजस्व कमाने के चक्कर में सुरक्षा को ताक पर रख दिया गया। देर रात तक शराबियों का डेरा रहता है। कचरा तलाशय में फेंक देते हैं। कोई देखने वाला नहीं है।
पर्यटन स्थल तांदुला को स्वच्छ व सुंदर रखने सिंचाई विभाग ने सिर्फ बोर्ड लगाया है। यह बोर्ड भी किसी काम नहीं आ रहा है। रोजाना बड़ी संख्या में शराबी गंदगी करते हैं। यही नहीं यह प्रेमी जोडिय़ों का भी अड्डा बना हुआ है। कई बार यहां घटनाएं होने के बावजूद इसे रोकने पर पर्यटन विभाग ध्यान नहीं दे रहा है। न ही पुलिस झांकने आती है।
सिंचाई विभाग के एसडीओ केके वर्मा ने कहा हमने तांदुला जलाशय में आने वाले पर्यटकों के लिए सूचना बोर्ड लगाकर गंदगी नहीं करने की अपील की है। वहीं पर्यटकों को जलाशय के अंदर जाने में भी मनाही की गई है।