नाबालिग लड़की सुबह नए साल का विश करते हुए किसी के साथ फोन पर बात कर रही थी। तभी उसकी मां ने पूछ लिया कि किसके साथ बात कर रही है। इतनी सी बात पर वह नाराज हो गई। गुस्से में कमरे में चली गई और दरवाजा बंद कर फांसी पर झूल गई। लड़की की मां को जैसे ही कुछ अनहोनी की भनक लगी तो दरवाजा खटखटाया। तभी लड़की के भाई को मां ने बताया कि दरवाजा नहीं खोल रही। फिर देखा कि वह फांसी लगा रही है। दरवाजा तोडऩे का प्रयास किया पर दरवाजा नहीं टूटा। इस दौरान कमरे में लड़की ने फांसी लगा ली थी। जिसे देखते हुए घर का पटाव तोड़कर कमरे में प्रवेश किया। तड़पती अपनी बहन को फंदे से नीचे उतारकर उसकी जान बचा ली। पुलिस जांच में जुट गई है।
यह घटना हर बच्चे व पालकों के लिए सबक है।
अपने बच्चों के साथ दोस्ताना व्यवहार करें।
बच्चे भी कोई भी परेशानी व बात पालकों से बताएं।
कोई ऐसा कदम बच्चे न उठाएं, जिससे माता-पिता आहत हों।
आने वाले दिनों में आपको भी परेशानी हो।
बच्चों की गतिविधियों पर भी पालकों को नजर रखनी चाहिए।
कोई कार्य गलत लगे तो बच्चों के साथ बैठकर चर्चा करें।