कोविड-19 (Covid-19) की चुनौतीपूर्ण परिस्थिति में जिले के कलक्टर श्याम धावड़े के निर्देशन एवं जिला शिक्षा अधिकारी बी. एक्का के मार्गदर्शन एवं नेतृत्व तथा शिक्षकों के संयुक्त प्रयास से जिले में शिक्षा का अविरल धारा लगातार प्रवाहित हो रही है।
पढ़ई तुंहर दुआर योजना को साकार करने में सुदूर अंचल के 2 दिव्यांग शिक्षकों (Divyang teachers) द्वारा लगातार मोहल्ला क्लास संचालित कर अनुकरणीय प्रयास किया गया है। एक ओर जहां विकासखण्ड कुसमी में प्राथमिक शाला टाटीझरिया में पदस्थ दिव्यांग शिक्षक सुरेन्द्र गुप्ता द्वारा लगातार मोहल्ला क्लास (Mohalla class) लेकर बच्चों की पढ़ाई की तारतम्यता बनाये रखे हुए हैं।
वहीं विकासखण्ड रामचन्द्रपुर के माध्यमिक शाला मेघुली के शिवकुमार रवि भी पैर से दिव्यांग होते हुए भी बच्चों को जोडक़र मोहल्ला क्लास संचालित कर रहे हैं। ऐसे शिक्षकों (Teachers) के जजबा व जुनून से जिले के बच्चे प्रतिदिन लगातार पढ़ाई से जुड़े हुए हंै।
जिले के जिला शिक्षा अधिकारी, जिला मिशन समन्वयक तथा नोडल अधिकारी द्वारा विगत आठ महीने से नियमित रूप से वर्चुअल तथा ऑफलाइन बैठक लेकर विकासखण्ड एवं संकुल स्तर के समस्त अधिकारियों एवं कर्मचारियों को प्रोत्साहन एवं प्रेरित करते आ रहे हैं।
राज्य शासन की पहल तथा शिक्षकों के प्रयास से पढ़ई तुंहर दुआर अपने उद्देश्यों को प्राप्त कर रहा है। मोहल्ला क्लास जैसी व्यवस्था ने बच्चों को स्कूल जैसी शिक्षा तथा वातावरण देने का महत्वपूर्ण कार्य किया है।
जिले में 700 से अधिक मोहल्लों में ऑफलाइन क्लास
कोरोना संक्रमण (Covid-19) के इस दौर में भी जिले में लगातार 700 से अधिक मोहल्लों में ऑफलाइन क्लास चल रहा है। वहीं ऑनलाइन क्लास लेने में भी शिक्षक पीछे नहीं हंै।
विकासखण्ड शिक्षा अधिकारियों तथा सीएसी, सीआरसी द्वारा क्लास का निरीक्षण कर शिक्षकों को प्रोत्साहित किया जा रहा है, वहीं शिक्षकों द्वारा दी जा रही शिक्षा का समय-समय पर मूल्यांकन करने का कार्य भी ऑनलाइन पोर्टल (Online portal) में अनवरत जारी है।