गाय को इलाज के लिए ले जा रहा था पीड़ित ग्राम लक्ष्मनपुर भवनियापुर निवासी पीड़ित कैलाशनाथ शुक्ला ने बताया कि बीते गुरुवार को वह अपनी गाय का इलाज कराने के लिए जुआथान श्रीनगर जा रहे थे। रास्ते में अचानक गाय हाथ से छूट गई और भाग निकली। कैलाश नाथ ने गाय का पीछा किया और उसे पकड़कर ले जाने लगे। इसी बीच अचानपुर नंदनगर गांव के कुछ लोगों ने कैलाश को पकड़ लिया और कहा कि तुम गाय को आवारा छोड़ने आए थे।
बुरी तरह की पिटाई कैलाश नाथ ने लोगों को गाय का इलाज कराने की बात भी बताई, लेकिन हंगामा बढ़ता हुआ देख लोग दर्जनों की संख्या में हो गए और उनकी एक न सुनी। कैलाश नाथ को भीड़ ने बुरी तरह मारा-पीटा। उनके बाल मुंडवाकर चेहरे पर कालिख भी पोत दी गई। गाय को उनके हाथ में जंजीर से बांधकर सड़क पर घुमाया गया और बाद में उन्हें एक गड्ढे में ढकेल दिया गया। जिससे कैलाश नाथ को गंभीर चोटें भी आई हैं। जिसके बाद स्थानीय चिकिसालय में उनका इलाज कराया जा रहा है।
पुलिस पर पीड़ित ने लगाए गंभीर आरोप कैलाश नाथ का यह भी आरोप है कि कोतवाली देहात की पुलिस आरोपियों को बचाने का प्रयास कर रही है। जिसके चलते पीड़ित कैलाश नाथ शुक्ल ने एसपी राजेश कुमार से मामले की जांच कराकर दोषियों को सजा दिलाए जाने की मांग की है। वहीं पूरे मामले पर पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार ने बताया कि मामले की जांच कराई जा रही है। फिलहाल दिनेश शुक्ल, उमेश तिवारी, जीवनलाल, ननकने को गिरफ्तार कर जेल रवाना किया जा चुका है। बाकी आरोपियों की तलाश जारी है।