कल्याणपुर गांव टापू बन चुका है और राप्ती नदी ने चारों तरफ से इस गांव को घेर लिया है। जिला मुख्यालय से मात्र 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित इस गांव से बाहर आने के लिए लोगों को गहरे पानी से होकर और जान जोखिम में डालकर निकलना पड़ रहा है। सबसे ज्यादा दिक्कत उन लोगों को आ रही है जो बीमार है और उन्हें चिकित्सीय सुविधाएं मुहैया नहीं हो पा रही हैं। ढोढरी गांव में राप्ती नदी ने 500 मीटर तटबंध को पूरी तरह क्षतिग्रस्त कर दिया है। सड़क को काटकर राप्ती नदी गांव की और बढ़ रही है। राप्ती नदी की कटान को रोकने के लिए सिंचाई विभाग द्वारा प्रयास किए गए हैं, लेकिन ग्रामीणों की मानें तो यह पर्याप्त नहीं है। यही हाल श्रीदत्तगंज ब्लॉक के लखमा, फत्तेपुर और वभनपुरवा गांव का भी है जो राप्ती नदी के कटान की जद में हैं। राप्ती नदी पर बने तटबंध जगह-जगह क्षतिग्रस्त हो गए हैं लेकिन सिंचाई विभाग बेपरवाह है।
अपर जिलाधिकारी अरुण कुमार शुक्ल एवं अपर पुलिस अधीक्षक अरुण मिश्र ने ग्राम कल्याणपुर मटहा पहुंचकर कटान एवं बाढ़ के प्रभाव का जायजा लिया। इस दौरान एडीएम द्वारा ग्रामीणों से वार्ता की। ग्रामीणों को प्रशासन द्वारा हर संभव मदद का आश्वासन दिया। अपर जिलाधिकारी द्वारा बाढ़ खंड के अधिकारियों को कटान को रोकने हेतु कटान निरोधक कार्यों में तेजी लाए जाने का निर्देश दिया है। क्षेत्रीय लेखपाल एवं कानूनगो को ग्राम में निरंतर निगरानी करने के निर्देश दिए हैं।