उन्होंने कहा कि लेजर लाइट शो और 3 डी इमेजिंग मौजूदा दौर में पूरी दुनिया में पसंद किया जा रहा है। ऐसे शो को नए नए रूपों में पेश कर संबंधित विषयों को विविधता पूर्वक पेश किया जा सकता है। इसलिए बीएससीएल को उम्मीद है कि फ्रीडम पार्क इस नए तकनीक से युक्त होने पर पर्यटकों के आकर्षण का विशेष केंद्र बन जाएगा। इस परियोजना के कुछ महीनों में शुरू होने की उम्मीद है।
१९वीं सदी में ब्रिटिश शासन में बना फ्रीडम पार्क आजादी के पांच दशक बाद तक सेंट्रल जेल था। वर्ष २००१ में जब परप्पन अग्रहारा में नया सेंट्रल जेल बना तब फ्रीडम पार्क को एक पर्यटन गंतव्य के रूप में विकसित करने की योजना बनाई गई। अंतत: जनवरी 2008 में इसे एक हरित क्षेत्र के रूप में आम नागरिकों के लिए खोला गया। इस बीच, बीबीएमपी और बेंगलूरु एजेंडा टास्क फोर्स ने पार्क के विकास के लिए एक डिजाइन का चयन करने के लिए एक राष्ट्रीय प्रतियोगिता आयोजित की थी जिसके तहत फ्रीडम पार्क को अब लेजर लाइट शो के लिए विकसित किया जाएगा।
पर्यटन का नया अनुभव मिलेगा
पर्यटन का नया अनुभव मिलेगा
लेजर लाइट शो और 3 डी इमेजिंग में स्वतंत्रता संग्राम को विशेष रूप से दर्शाया जाएगा। इसमें महात्मा गांधी के जेल में बिताई अवधि को खास तौर पर ३ डी मैपिंग में देखने और उससे संबंधित जानकारी मिलेगी। वहीं, पार्क के समृद्ध इतिहास, निर्माण कथा और ऐहिासिक घटनाओं से अवगत कराया जाएगा। अधिकारियों का कहना है कि यह पर्यटन का नया अनुभव देने के साथ ही मनोरंजन के माध्यम से इतिहास को जानने का अवसर देगा।
विश्वस्तरीय होगा लेजर लाइट शो
बीएससीएल ने परियोजना को अनुमति दे दी है। यहां विश्व स्तरीय ऑडियो-विजुअल लेजर लाइट शो देखने को मिलेगा। परियोजना को साकार करने के लिए ९० प्रकार के उपकरणों की जरुरत है जिसमें एम्पलथियेटर सहित एलइडी स्क्रीन भी शामिल रहेंगे।
बीएससीएल ने परियोजना को अनुमति दे दी है। यहां विश्व स्तरीय ऑडियो-विजुअल लेजर लाइट शो देखने को मिलेगा। परियोजना को साकार करने के लिए ९० प्रकार के उपकरणों की जरुरत है जिसमें एम्पलथियेटर सहित एलइडी स्क्रीन भी शामिल रहेंगे।