विधानमंडल अधिवेशन: पहले दिन संयुक्त सत्र को राज्यपाल वाळा ने किया संबोधित
कर्नाटक के राज्यपाल की अपील सकारात्मक चर्चा में भाग लें विधायक
बेंगलूरु. राज्यपाल वजूभाई वाळा ने सोमवार के राज्य के विधि निर्माताओं से सदन में रचनात्मक चर्चाओं में शामिल होने की अपील की। विधानमंडल के संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए वाळा ने कहा कि मुझे उम्मीद है कि सत्र के दौरान राज्य के सामने आने वाली चुनौतियों और कार्यान्वयन की गुणवत्ता में सुधार के आवश्यक उपायों पर रचनात्मक चर्चा होगी। उन्होंने विधायकों से राज्य के सतत विकास के लक्ष्यों को हासिल करने के लिए प्रगति पर भी ध्यान देने की अपील की।
हिंदी में विधायकों को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि राज्य में निवेश को बढ़ाने के लिए भी सरकार ने कई कदम उठाए हैं। राज्य सरकार ने निवेश के माहौल को सुधारने के लिए कई कदम उठाए हैं और जल्द ही नई औद्योगिक नीति भी लाई जाएगी। इसके अलावा स्टार्ट-अप बॉयो-फार्मा उद्यमों को बढ़ावा देने के लिए सरकर इनक्यूबेटर भी स्थापित करेगी। वाळा ने कहा राज्य सरकार जल्द ही सौर ऊर्जा चालित सिंचाई पंपों को ग्रिड से जोडऩे के बारे में नीति घोषित करेगी।
२० पृष्ठों के अभिभाषण में राज्य सरकार की उपलब्धियों को गिनाते हुए वाळा ने कहा कि कर्नाटक निवेश आकर्षित करने के मामले में देश में दूसरे स्थान पर है। राज्य ने नवम्बर २०१९ तक ७१,७४५ करोड़ रुपए का निवेश् आकर्षित किया है।राज्यपाल ने अभिभाषण में प्राकृतिक आपदा के दौरान राज्य सरकर के प्रबंधन की सराहना करने के साथ ही सरकार की प्राथमिकताओं का भी उल्लेख किया था।
राज्य सरकार ने कोप्पल, बीदर और गदग में 2500 मेगावाट क्षमता वाले तीन और अल्ट्रा मेगा अक्षय ऊर्जा पार्क स्थापित करने की योजना बनाई है। यहां सोमवार को विधानमंडल के संयुक्त अधिवेशन को संबोधित करते हुए राज्यपाल वज्जूभाई वाळा ने कहा कि अक्षय ऊर्जा के उत्पादन में राज्य देश में अग्रणी बना रहेगा। पावगड़ में स्थापित पहली अल्ट्रा सौर ऊर्जा परियोजना चालू है।उन्होंने कहा कि सरकार का इरादा है एक स्टैंडअलोन और ग्रिड से जुड़े सौर ऊर्जा संचालित कृषि पंपों को बढ़ावा देने वाली नीति तैयार करने की है।
राज्यपाल ने कहा कि शहरी विकास राज्य सरकार की प्राथमिकताओं में से एक है। मुख्यमंत्री नगरोत्थान योजना को 8 हजार 344 करोड़ के परिव्यय के साथ अनुमोदित किया गया है और 2500 करोड़ रुपए से अधिक लागत के कार्य प्रगति पर हैं। कावेरी जलापूर्ति योजना का पांचवा चरण तेजी से कार्यान्वित किया जा रहा है। इस परियोजना के शुरू होने के बाद बेंगलूरु शहर के लिए अतिरिक्त 775 एमएलडी जलापूर्ति सुनिश्चत होगी।
सिंचाई परियोजनाओं को प्राथमिकता वाळा ने कहा कि सरकार सूखा प्रभावित १०० तालुकों में नई योजना लागू करना चाहती है। इन तालुकों में सूखे की स्थिति का सामना करने के लिए वाटरशेड विकसित किए जाएंगे। सरकार की किसान हितैषी योजनाओं पर प्रकाश डालते हुए वाळा ने कहा कि सरकार सिंचाई योजनाओं को प्राथमिकता दे रही है। चालू वित्त वर्ष के दौरान १२ हजार हेक्टेयर की सिंचाई के लिए बड़ी परियोजनाओं के जरिए व्यवस्था की गई। ४०५० करोड़ की २१ सिंचाई परियोजनाओं को प्रशासनिक मंजूरी दी गई है। वाळा ने कहा कि सरकार ने २७६ कर्नाटक पब्लिक स्कूल शुरु किए।