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कर्नाटक के पास जल्द होगा खुद का एम्स : डॉ. हर्षवर्धन

locationबैंगलोरPublished: Sep 01, 2020 03:42:04 pm

Submitted by:

Nikhil Kumar

विम्स में मल्टि स्पेशलिटी ट्रॉमा केंद्र का ऑनलाइन उद्घाटन

कर्नाटक के पास जल्द होगा खुद का एम्स : डॉ. हर्षवर्धन

कर्नाटक के पास जल्द होगा खुद का एम्स : डॉ. हर्षवर्धन

बेंगलूरु. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन (Union Health Minister Dr. Harsh Vardhan) ने कहा कि कर्नाटक में एम्स यानी अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान जल्द स्थापित होगी। वित्त मंत्रालय इस पर गंभीरता से विचार कर रहा है। वो दिन दूर नहीं जब कर्नाटक के पास खुद का एम्स (All India Institute Of Medical Sciences) होगा।

वे सोमवार को बल्लारी स्थित विजयनगर इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस (विम्स) अस्पताल में प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना के तहत मल्टि स्पेशलिटी ट्रॉमा केंद्र का ऑनलाइन उद्घाटन करने के बाद संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि 15 अगस्त 2003 में एक एम्स (AIIMS) से शुरू हुई यात्रा देखते ही देखते सात एम्स में बदल गई। पिछली सरकार के कार्यकाल में रायबरेली में एक और एम्स की शुरुआत हुई। वर्ष 2014 के बाद से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister, Narendra Modi) के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने कुल 22 एम्स की स्थापना को स्वीकृति दी है।

डॉ. हर्षवर्धन ने कहा कि मेडिकल कॉलेजों, एमबीबीएस और पीजी सीटों की संख्या में गत छह वर्षों में देश भर में बढ़ोतरी हुई है। मेडिकल कॉलेजों के विस्तार के तीसरे चरण में केंद्र सरकार की मदद से देश भर में 75 नए मेडिकल कॉलेज खुलेंगे।

कार्यक्रम में मौजूद मुख्यमंत्री बी. एस. येडियूरप्पा ने डॉ. हर्षवर्धन को भेजे गए उस पत्र की ओर ध्यान दिलाया जिसमें उन्होंने कलबुर्गी स्थित कर्मचारी राज्य बीमा निगम (इएसआइसी) अस्पताल और मेडिकल कॉलेज को एम्स की तर्ज पर विकसित करने पर विचार करने के लिए लिखा था। मुख्यमंत्री ने कहा कि कलबुर्गी एक पिछड़ा जिला है और इएसआइसी अस्पताल को एम्स में अपग्रेड करने से यहां के लोग लाभान्वित होंगे।

डॉ. हर्षवर्धन ने कर्नाटक में कोरोना वायरस संक्रमण के नियंत्रण की दिशा में किए गए कामों के लिए मुख्यमंत्री बी. एस. येडियूरप्पा और चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. के. सुधाकर सहित मंत्रिमंडल की प्रशंसा की। डॉ. हर्षवर्धन ने कहा कि अन्य राज्यों के साथ हुई बैठकों में उन्होंने कर्नाटक द्वारा किए गए उपायों का उल्लेख किया है और राज्यों को कर्नाटक मॉडल अपनाने की सलाह दी है।

चार नए मेडिकल कॉलेज जल्द

कर्नाटक में और मेडिकल कॉलेज खोलने के डॉ. हर्षवर्धन के सुझाव का जवाब देते हुए डॉ. सुधाकर ने कहा कि वर्ष 2021 तक चिकमगलूरु, हावेरी, यादगीर और चिकबलापुर जिले में चार मेडिकल कॉलेज खुलेंगे। निर्माण कार्य जारी है। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को काम में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं।

डॉ. सुधाकर ने कहा कि बल्लारी में सही समय पर सबसे जरूरी ट्रॉमा केंद्र की शुरुआत हुई है। त्वरित चिकित्सा सहायता के अभाव में प्रदेश में हर वर्ष 4.7 लाख से ज्यादा लोग सड़क दुर्घटनाओं में जान गंवाते हैं। दुर्घटना के एक घंटे के भीतर यानी गोल्डन आवर में पीडि़त को उपचार मिले तो कईयों की जान बचाई जा सकती है। इससे पहले सड़क दुर्घटना में घायल लोगों को बेंगलूरु भेजना पड़ता था। इस ट्रॉमा केंद्र के खुलने से पीडि़तों को सही समय पर उचित उपचार मिल सकेगा। उन्होंने कहा कि 200 बिस्तर, 72 आइसीयू और 20 वेंटिलेटर युक्त इस केंद्र के निर्माण में केंद्र सरकार ने महत्वपूर्ण योगदान दिया है। 150 करोड़ रुपए की लागत से बने नए ट्रॉमा केंद्र में सीटी स्कैन, डिजिटल एक्स-रे, न्यूरोसर्जरी और ऑर्थोपेडिक आदि सेवाएं भी हैं।

डॉ. सुधाकर ने कहा कि चिकित्सा सहायता प्रदान करने में कर्नाटक अग्रणी रहा है। कोविड महामारी के दौरान सबसे कम समय में 20 हजार आइसीयू बिस्तर स्थापित कर कर्नाटक ने अपनी क्षमता सिद्ध की है। इस अवसर पर उन्होंने विम्स में सीटी स्कैन मशीन उद्घाटन भी किया।

केंद्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे और जिला प्रभारी मंत्री आनंद सिंह ने भी कार्यक्रम में हिस्सा लिया।

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