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नौ माह की बच्ची कोविड से हारी जिंदगी की जंग

locationबैंगलोरPublished: Aug 17, 2022 08:52:59 am

Submitted by:

Nikhil Kumar

तमाम प्रयासों के बावजूद उसे बचाया नहीं जा सका। बच्ची ने अगले दिन 12 अगस्त को दम तोड़ दिया

नौ माह की बच्ची कोविड से हारी जिंदगी की जंग

नौ माह की बच्ची कोविड से हारी जिंदगी की जंग

– 24 घंटे में 1121 नए मामले, पांच मौतें

कोलार जिले में नौ माह की बच्ची कोविड से जिंदगी की जंग हार गई। बुखार और सांस लेने में दिक्कत के कारण उसे 11 अगस्त को अस्पताल में भर्ती कर उपचार शुरू किया गया था। तमाम प्रयासों के बावजूद उसे बचाया नहीं जा सका। बच्ची ने अगले दिन 12 अगस्त को दम तोड़ दिया। स्वास्थ्य विभाग ने इस बच्ची के साथ कुल पांच मौतों की पुष्टि मंगलवार को की। इसके साथ मृतकों की तादाद 40,152 पहुंच गई है।

Karnataka में बीते 24 घंटे में कोविड के 1,121 नए मामले सामने आए जबकि 1,711 लोगों ने Corona Virus को मात दी। अब तक संक्रमित कुल 40,33,610 लोगों में से 39,83,536 लोग स्वस्थ हुए हैं। 9,880 मरीजों का उपचार जारी है। राज्य में मंगलवार को कोविड टेस्ट पॉजिटिविटी दर 7.59 फीसदी रही।

Bengaluru City जिले में 812 नए मामले सामने आने से संक्रमितों की कुल संख्या 18,53,630 पहुंच गई। इनमें से 18,29,978 लोग संक्रमण से उबर चुके हैं। 6,672 मरीजों का उपचार जारी है।

बल्लारी और मैसूरु जिले में 33-33, बेलगावी और बेंगलूरु ग्रामीण जिले में 23-23, कोडुगू जिले में 22, हासन जिले में 21, धारवाड़ जिले में 16, दावणगेरे और हावेरी जिले में 13-13 और चिकमगलूरु जिले में कोविड के 10 नए मरीजों की पुष्टि हुई।

स्वास्थ्य विभाग ने राज्य में बीते एक दिन में कोविड के 14,766 नमूने जांचे और 45,950 लोगों का टीकाकरण हुआ।

मध्याह्न भोजन योजना बाधित होने की आशंका
बेंगलूरु. राज्य के 50 हजार से अधिक सरकारी शालाओं में दोपहर का भोजन तैयार करने वाली 60 वर्ष से अधिक उम्र की 6500 महिलाओं को बर्खास्त करने के फैसले के विरोध में कर्नाटक राज्य अक्षर दासोहा कर्मचारी संघ ने फ्रीडम पार्क में विरोध प्रदर्शन शुरू किया है। इस कारण सरकारी शालाओं में दोपहर का भोजन कार्यक्रम बाधित होने की संभावना है।

यहां मंगलवार को संघ की अध्यक्ष लक्ष्मी देवी ने कहा कि जिन महिलाओं को शीर्ष अदालत के फैसले के तहत बर्खास्त किया गया, उन्हें 30-30 वर्ष तक सेवाएं देने के बावजूद ग्रेच्युटी की राशि का भुगतान तक नहीं किया गया। संघ उन्हें ग्रेच्युटी के भुगतान की मांग कर रहा है।

उन्होंने कहा कि सरकारी शालाओं में दोपहर भोजन योजना के अंतर्गत 50 लाख से अधिक महिला कर्मचारी कार्य कर रही हैं। उनकी किसी भी लंबित मांग पर राज्य सरकार ने ध्यान नहीं दिया। इसलिए संघ यहां पर विरोध प्रदर्शन कर रहा है।

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