scriptSimple and interesting mode of worship-rituals of Bhaktimarg: Acharya | पूजन-अनुष्ठान भक्तिमार्ग की सरल व रोचक विधा: आचार्य विमलसागर | Patrika News

पूजन-अनुष्ठान भक्तिमार्ग की सरल व रोचक विधा: आचार्य विमलसागर

locationबैंगलोरPublished: Aug 28, 2023 07:00:06 pm

  • चामराजपेट में प्रवचन

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बेंगलूरु. आचार्य विमलसागरसूरी ने कहा कि आराध्य के पूजन-अनुष्ठान वैदिक व जैन संस्कृति की उपासना पद्धति के अत्यंत प्राचीन आविष्कार हैं। लाखों वर्षों से मूर्तिपूजा के साथ अनेक रोचक, तार्किक महत्वपूर्ण विधि-विधान जुड़े हुए हैं। इन अनुष्ठानों के कारण ही परतंत्र काल में जैन व वैदिक परंपरा की धर्म भावनाएं जीवित रह सकी हैं। ज्ञान और सिद्धांतों की बातें अक्सर कठिन व अरोचक होती हैं। सामान्य लोग उनसे प्रभावित नहीं होते। पूजन-अनुष्ठान भक्तिमार्ग की सरल और रोचक विधा है। सामान्यजन इन्हीं से प्रेरित और परिपक्व बनते हैं। अनुष्ठानों से मनुष्य को सत्व, सात्विकता, बल और आत्मविश्वास मिलता हैं। वे प्रार्थना और कामना का रूप हैं। वे हमें भटकने से बचाते हैं।
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