अब एक विधायक महोदय ने खुद इस सच्चाई से पर्दा हटाने की कोशिश की है। ये विधायक कर्नाटक के कोलार विधानसभा क्षेत्र से जनता दल-एस की टिकट पर पिछले साल हुए चुनावों में जीते हैं।
विधायक श्रीनिवास गौड़ा ने कहा कि श्रीनिवास ने कहा कि चुनाव लडऩा अब किसी ऐरे गेरे का खेल नहीं रहा। सभी राजनीतिक दलों के प्रत्याशी 100 करोड़ से 1500 करोड़ रुपए के मालिक हैं।
प्रचार के दौरान करोड़ों रुपए फूंकने पर ही जीत संभव है। ना तो पहले जैसे राजनेता रहे और ना ही अब वैसे मतदाता। मतदाताओं को जो प्रत्याशी अधिक पैसे देता है, उसका समर्थन करते हैं। विधायक ने कहा कि 2018 में हुए विधानसभा चुनावों के दौरान उन्होंने जो ऋण लिया था, उसे अभी भी नहीं चुका पाए हैं।
जताई इच्छा : स्थिर रहे भाजपा सरकार
जनता दल-एस के एक विधायक ने उप चुनाव के बाद भी राज्य में भाजपा सरकार कायम रखने की चाहत व्यक्त की है। श्रीनिवास ने कहा कि वे यह बात सोच-समझ कर कह रहे हैं कि बार-बार चुनाव लडऩा किसी भी जनप्रतिनिधि के लिए आसान नहीं है।
इसलिए किसी भी हालत में मौजूदा सरकार को अस्थिर करने का प्रयास नहीं किया जाना चाहिए। विधानसभा का चुनाव हुए अभी 18 माह भी पूरे नहीं हुए हैं। ऐसे में मौजूदा सरकार को गिराकर फिर एक बार चुनाव करना तार्किक नहीं है।