ओल्ड मैसूरु के कई विधायकों को उम्मीद है कि चुनाव में इस क्षेत्र की जनता के मिले समर्थन का सीधा फायदा उनको होगा और वे मंत्रिमंडल में शामिल होंगे। अकेले मैसूरु में जद (ध) को पांच सीटों पर सफलता मिली है जबकि मंड्या जिले में सभी सात सीटों पर पार्टी जीती है। वहीं कांग्रेस को मैसूरु जिले में तीन और चामराजनगर जिले में दो सीटों पर सफलता मिली है। इसके अतिरिक्तबसपा को भी कोल्लेगल विधानसभा क्षेत्र में जीत मिली है। कांग्रेस छोड़कर जद (ध) में शामिल हुए थे। इसलिए विश्वनाथ को इसका फायदा मिलने की उम्मीद है और वे मंत्री पद के अग्रणी दावेदरों में हैं। वहीं कांग्रेस की ओर से पूर्व मंत्री तनवीर सेत प्रमुख दावेदार माने जा रहे हैं। वे सिद्धरामय्या सरकार में भी मंत्री थे और अल्पसंख्यक समुदाय से आते हैं।
बसपा विधायक की भी लग सकती है लॉटरी
हालांकि मंत्री पद जिन अन्य विधायकों की निगाह है उनमें जद (ध) से केआरनगर सीट से तीसरी बार जीत हासिल करने वाले सारा महेश और कांग्रेस से चामराजनगर और हानूर से लगातार तीसरी बार जीतने वाले क्रमश: पुट्टरंगा शेट्टी और नरेन्द्र का नाम सुर्खियों में हैं। बसपा के एन. महेश मंत्री पद के प्रमुख दावेदार के रूप में सामने आए हैं।
हालांकि मंत्री पद जिन अन्य विधायकों की निगाह है उनमें जद (ध) से केआरनगर सीट से तीसरी बार जीत हासिल करने वाले सारा महेश और कांग्रेस से चामराजनगर और हानूर से लगातार तीसरी बार जीतने वाले क्रमश: पुट्टरंगा शेट्टी और नरेन्द्र का नाम सुर्खियों में हैं। बसपा के एन. महेश मंत्री पद के प्रमुख दावेदार के रूप में सामने आए हैं।