विधानसभा में मंगलवार को बजट पर हुई बहस के उत्तर में मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने कोविड-19 के कारण संकट में घिरे गरीबों की समस्याओं को दूर करने के मकसद से सामाजिक सुरक्षा पैेंशन योजनाओं के लाभार्थियों के लिए दो किस्तों का भुगतान एकमुश्त करने का निर्णय किया है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र के लोगों की सहायता करने के मकसद से सरकार ने महानरेगा योजना में मजदूरी का अग्रिम भुगतान करने तता गरीबों को दो माह का राशन तत्काल वितरित करने का निर्णय किया है। उन्होंने कहा कि राज्य में कुल 21 लाख भवन निर्माण श्रमिक हैं और इन सभी श्रमिकों को एक हजार रुपए की सहायता देने का निर्णय किया गया है।
उन्होंने कहा कि बड़वरु बंधु योजना के तहत फेरी वाले व्यापारियों ने करीब 13 करोड़ रुपए का ऋण ले रखा है और इस ऋण को पूर्णत: माफ करने का निर्णय किया गया है। उन्होंने कहा कि इस योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2019-20 में 9 करोड़ रुपए तथा 2020-21 में 5 करोड़ रुपए का ऋण दिया गया था इस तरह योजना के तहत दिए गए करीब 13.02 करोड़ रुपए के :ऋण को पूर्णत: माफ कर दिया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए राज्य सरकार ने तमाम एहतियाती कदम उठाए हैं और उनको यकीन है कि प्रदेश की जनता जल्द ही इस घातक वायरस के आतंक से मुक्त हो जाएगी।
प्रदेश के मुख्यमंत्री के तौर पर वे अपनी आत्मा को साक्षी मानकर कहते हैं कि राज्य सरकार कोरोना वायरस की रोकथाम के प्रथम चरण को पुरा करने में सफल रही है और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी राज्य सरकार द्वारा उठाए गए कदमों की प्रशंसा की है। कोविड-19 रोग से सारा विश्व जूझ रहा है और राज्य सरकार ने इस घातक रोग के संक्रमण की रोकथाम के लिए 200 करोड़ रुपए जारी किए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने कोविड-19 को फैलने से रोकने के लिए तमाम एहतियाती कदम अत्यंत प्रबावी तरीके से उठाए हैं।
यह हम सभी के लिए एक परीक्षा की घड़ी है लिहाजा संक्रमण को रोकने के लिए सभी को सहयोग करना होगा। राज्य में कोरोना के पहले चरण को रोका गया है और अब राज्य में दूसरा चरण चल रहा है और यह संक्रमण तीसरे व चौथे चरण में नहीं पहुंचा है। उन्होंने कहा कि संक्रमण को रोकने की सरकार की पहल से गरीबों को समस्याएं होने की बात सच है और इसीलिए सरकार ने उनको राहत पहुंचाने के कुछ कदम उठाए हैं।
उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए उनकी अगुवाई में एक टास्क फोर्स का गठन किया गया है जिसमें स्वास्थ्य व परिवार कल्याण, मेडिकल शिक्षा, गृह,सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रियों को शामिल करके व्यवस्थित अभियान चलाया जा रहा है। इसके लिए 200करोड़ रुपए पहले ही जारी कर दिए गए हैं और जरुरत पडऩे पर राज्य सरकार और अधिक धन जारी करेगी।