बांसवाड़ा : दो साल पहले हुई चेन स्नैचिंग की वारदात, पुलिस ने अब दर्ज किया प्रकरण, लोगों में असंतोष

बांसवाड़ा. कोतवाली थाना इलाके की रातीतलाई कॉलोनी में वर्ष 2017 के नवंबर में एक महिला के साथ हुई चेन स्नेचिंग की वारदात को पुलिस ने दो साल बाद वर्ष 2019 में दर्ज किया है। वह भी महिला को बयान दर्ज कराने के लिए बुलाकर। जबकि महिला ने वारदात के समय भी पुलिस को रिपोर्ट दी थी, लेकिन पुलिस ने इस वारदात की रिपोर्ट को उस समय दर्ज नहीें किया। शहर की रातीतलाई गनी नंबर तीन के निवासी अलका जैन पत्नी अजीत कुमार जैन ने पुलिस को सौंपी रिपोर्ट में बताया कि वारदात 24 नवंबर 2017 की है। उसकी 65 वर्षीय सास शकुन्तला जैन चाय लेकर पुराने मकान से नए मकान पर जा रही थी। ठीक उसी समय रास्ते में अज्ञात आरोपी ने उसकी सास के गले से सोने की चेन खींच ली और फरार हो गए। चेन करीब 15-16 ग्राम की थी। इस वारदात के बाद काफी देर तक आरोपी को ढूंढने का प्रयास किया, लेकिन कोई सुराग नहीं लगा।
बाइक चोरी के प्रकरणों से किनारा
पुलिस बाइक चोरी के प्रकरणों को तो समय पर कभी दर्ज नहीं करती है। बीते दिनों आई बाइक चोरी के शायद ही किसी प्रकरण को पुलिस ने समय पर दर्ज किया। ऐसे में लोगों में पुलिस के प्रति असंतोष की स्थिति है। थाना प्रभारियों की लापरवाही एवं उच्च अधिकारियों की अप्रभावी मॉनिटरिंग के चलते निचले स्तर पर पुलिस कर्मियों की मनमानी हावी है।
पुलिस नहीं गंभीर
शहर में होने वाली चोरी की वारदातों को पुलिस दर्ज करने के बजाय किनारा करने में ज्यादा विश्वास रख रही है। परिवादी तो यह समझकर पुलिस पर विश्वास कर लेता है कि उसकी रिपोर्ट दर्ज हो गई, लेकिन असल में पुलिस ऐसे मामलों को ठंडे बस्ते में डालकर इतिश्री कर देती है। पुलिस के इस खेल का खुलासा उस समय होता है जब कोई चोर या आरोपी पुलिस के हत्थे चढ़ जाता है और उसकी ओर से वारदात का खुलासा होता है। ऐसे में पुलिस के पास किसी प्रकार की कोई रिपोर्ट तो होती नहीं हैं। फिर पुलिस दोबारा परिवादी को अपने पास बुलाती है और रिपोर्ट देने को कहती हैं।
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