कायाकल्प अभियान में प्रदेश के नंबर- वन जिला अस्पताल को इस साल भी अव्वल रहने की संभावना बन गई है। बायो मेडिकल सेग्रीजेशन में 92 प्रतिशत अंक मिले हैं जबकि गार्डन, किचिन सहित इंफ्रास्ट्रेक्चर में भी बेहतर स्थिति रहेगी। इस प्रकार से आगामी दिनोंं अस्पताल के नंबर- वन घोषित होने की पूरी उम्मीद की जा रही है। गौरतलब है वर्ष 2015-16 में तीसरा नंबर मिला था जबकि वर्ष 2016 -17 में नंबर- वन घोषित किया गया। अब वर्ष 2017-18 में नंबर- वन रहेगा इसकी पूरी-पूरी उम्मीद है। प्रदेश भर के अस्पतालों के सर्वेक्षण बाद यह बात स्पष्ट हो गई है। कायाकल्प में सफलता के बाद एनक्यूएस में सफल होने की कवायद की जा रही है। अस्पताल को ऊंचाइयों पर पहुंचाने के लिए कलेक्टर इलैया राजा टी के अथक प्रयासों को तब तक याद किया जाएगा, जब तक अस्पताल रहेगा।
एनक्यूएस में प्रतिवर्ष राशि मिलने से बेहतर होंगी व्यवस्थाएं: एनक्यूएस लेने में सफल होने पर 300 बैड अस्पताल को प्रतिबैड 10 लाख रुपए प्रतिवर्ष के मान से तीन साल तक राशि मिलेगी। इस बीच अगर बैड संख्या 400 हो जाती है यह राशि भी इसी मान से बढ़ जाएगी। इस राशि से व्यवस्थाएं और बेहतर हो सकेंगी।
पीएमओ से अवॉर्ड लेने की चल रही कवायद: अस्पताल प्रशासन पीएमओ से अवार्ड लेने की तैयारी में है। कायाकल्प अभियान में सफल जिला अस्पतालों को पीएमओ से अवार्ड दिए जाने की प्रक्रिया चलती है। अस्पताल प्रशासन एक डाक्यूमेंट्री बनवा रहा है तथा अपेक्षित जानकारी भेज रहा है। इस अवॉर्ड के मिलने से जिला अस्पताल का कद और बढ़ जाएगा।